आईडी किसी और की, आवास किसी और को
गाँव कनेक्शन 22 Jun 2016 5:30 AM GMT

भावलखेड़ा (शाहजहांपुर)। सरकार गरीबों के जीवनस्तर को सुधारने के लिए कई तरह की योजनाएं प्रदेश में चला रही है। उन्हीं में से एक योजना है आवासीय योजना। इसके तहत ऐसे गरीब परिवारों को आवास उपलब्ध कराये जाते हैं। जिनके पास रहने के लिए घर नहीं है। जनपद में यह योजना भ्रष्टाचार की भेंट चढ़कर दम तोड़ रही है। ग्राम प्रधान, अधिकारी और कर्मचारियों के आपसी गठजोड़ के चलते आवासीय योजना का लाभ पात्रों को नहीं मिल रहा है।
गाँव सेहरामऊ निवासी लक्ष्मी देवी पत्नी माधवराम ने बताया, “पिछली पंचवर्षीय योजना में उसे आवास दिया गया था, लेकिन दीवारें बन जाने के बाद आखिरी किस्त में प्रधान ने दस हजार रुपए नहीं दिए, जिसकी वजह से आज तक उस पर छत नहीं पड़ पायी।”
आवासीय योजना में प्रधानों द्वारा सम्बन्धित अधिकारियों और कर्मचारियों से साठगांठ कर भारी खेल किया जा रहा है। बीपीएल सूची में नाम किसी का अंकित है और कूटनीति करके लाभ किसी और को दिया जा रहा है। किसी की आईडी पर आवास किसी दूसरे को दिया जा रहा है। ऐसे एक-दो नहीं बल्कि पूरे जनपद में कई मामले हैं। इसी गाँव के रामऔतार, जिनकी बीपीएल आईडी नम्बर-6102 क्रम सं.-412 है, बीपीएल सूची में क्रमांक संख्या-583 होम सर्वे के अनुसार अंकित है। लेकिन प्रधान व सचिव की मिलीभगत से रामऔतार की आईडी पर इस नाम के दूसरे व्यक्ति रामऔतार की पत्नी लक्ष्मी के नाम आवास बना दिया गया है। भुक्तभोगी ने जिलाधिकारी से मामले की लिखित शिकायत की है, लेकिन अभी तक कोई भी कार्रवाई नहीं हुई। इसी तरह के कई मामले ग्रामसभा सेहरामऊ में है।
आवासीय योजना में सुविधा शुल्क न दे पाने की वजह से कूटनीति करके वंचित कर दिए गये पात्र व्यक्तियों ने शपथ पत्र लगा-लगाकर तमाम शिकायतें अधिकारियों से कीं, लेकिन इनकी शिकायत पर कोई भी कार्रवाई नहीं हुई। इसलिए अब तक पात्रों को नियमानुसार आवास नहीं मिल पाए। प्रधानों की मनमानी के चलते जनपद में अभी भी हजारों आवास ऐसे अधबने पड़े हैं, जिनका पूरा पैसा जारी कर दिया गया है।
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