राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो की 2022 की रिपोर्ट के मुताबिक भारत में महिलाओं के खिलाफ अपराध के 4,45,256 मामले दर्ज किए गए हैं, जिनमें 4 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी हुई है। आंकड़ों के अनुसार देश में प्रतिदिन, हर घंटे 51 एफआईआर दर्ज हो रही।
ऐसे में ज़रूरत है कि उनके पास सुरक्षा के कुछ ऐसे हथियार हों, जो उन्हें तत्काल राहत दे सकें। इसे ध्यान में रखते हुए सरकार ने पहल की है। महिलाओं को हर जगह सुरक्षित महसूस कराने के लिए महिला सुरक्षा एप्लीकेशंस लॉन्च की है, जो उनके स्मार्ट फोन के गूगल प्ले स्टोर पर मौजूद हैं।
ऐसे कुछ ऐप की मदद से महिलाओं और लड़कियों ने समय रहते अपनी जान बचाई है।
केस-1
मामला जयपुर के त्रिवेणी नगर का है। 12 फरवरी की सुबह, एक कोचिंग छात्रा से सरेराह एक युवक द्वारा छेड़छाड़ की घटना हुई। आहत छात्रा ने राजकॉप सिटीजन एप के फीचर पर जैसे ही संदेश भेजा, उसके बाद 3 मिनट के अंदर पुलिस मौके पर पहुंच गई। पुलिस ने आरोपी युवक को गिरफ्तार कर लिया। छात्रा की समझदारी और ऐप की मदद से खतरा टल गया।
केस-2
भरतपुर की रहने वाली युवती जयपुर के महेश नगर में पीजी में रहकर प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रही थी। इंस्टाग्राम पर उसकी जान-पहचान बीकानेर निवासी, धीरज रंधावा से हुई। धीरज ने उसे रेलवे स्टेशन के सामने स्थित बड़ोदिया बस्ती में होटल टाउन हाउस में बुला लिया। वहां उसने युवती के साथ अभद्रता करने की कोशिश की। युवती ने खुद को बाथरूम में बंद कर लिया। इसके बाद उसने मोबाइल में डाउनलोड राजकॉप सिटीजन एप के नीड हेल्प फीचर का बटन दबा दिया। मात्र 15 मिनट में पुलिस होटल पहुंच गई।

स्टेट क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो के आईजी शरत कविराज बताते हैं, “छेड़छाड़, एसिड अटैक और अपहरण जैसी वारदातों के कारण महिलाओं और बेटियों के लिए सुरक्षा का मुद्दा अहम हो गया है। इसे ध्यान में रखते हुए कई ऐसे ऐप्स बनाए गए हैं, जो गूगल प्ले स्टोर पर मौजूद हैं। इन ऐप्स में जीपीएस, ट्रेेकिंग, इमरजेंसी कॉन्टेक्ट नंबर और सेफ लोकेशन जैसे फीचर्स हैं। इनमें से कुछ ऐप्स सीधे पुलिस कंट्रोल रूम से जुड़े हैं, जिनसे आप पुलिस से ऑडियो या वीडियो के जरिए संपर्क कर सकते हैं।”
वो आगे कहते हैं, “इसके अलावा आपातकालीन स्थिति में महिला सहायता के लिए आने वाले वाहन की स्थिति को जांच सकती है। इस स्थिति में कंट्रोल रूम से महिला को फोन भी आता है। उन्होंने बताया कि इन ऐप्स की जानकारी हर महिला को होनी चाहिए, जिससे संकट के समय वह अपनी सुरक्षा के लिए इनका इस्तेमाल कर सकें।”
हाल के वर्षों में, भारत में महिलाओं की सुरक्षा बढ़ाने और इमरजेंसी में त्वरित राहत प्रदान करने के लिए कई समर्पित तकनीकें और मोबाइल एप्लीकेशन विकसित किए गए हैं, जो इस प्रकार हैं-
राजकॉप सिटीजन ऐप- राजकॉप एप को गूगल प्ले स्टोर और एप स्टोर से अंग्रेजी में राजकॉप सिटीजन एप टाइप कर डाउनलोड कर सकते हैं। एप को ओपन करते ही एसओएस पैनिक बटन की सुविधा मिलेगी। एक क्लिक पर पुलिस कंट्रोल रूम पर सूचना पहुंचती है। ये एप महिला सुरक्षा ऑनलाइन शिकायत, किराएदारों व नौकरों के सत्यापन और आपातकालीन सेवाओं में सहायता के लिए काम कर रही है।
सेफ्टीपिन ऐप– कामकाजी महिलाओं के लिए यह ऐप फायदेमंद है। यह एक ऐसा ऐप है, जो अलग-अलग क्षेत्रों में सुरक्षित और असुरक्षित जगहों की जानकारी देता है। अगर आप यात्रा करते समय डरती हैं, तो यह ऐप उन लोगों तक आपका संदेश पहुंचा देगा, जिनसे आपको मदद चाहिए। यह ऐप हिंदी और अंग्रेजी भाषा को सपोर्ट करता है। महिलाओं को खुद को सुरक्षित रखने के लिए यह ऐप जरूर रखना चाहिए। इसे गूगल प्ले स्टोर से ही इंस्टॉल करना चाहिए।
बी सेफ ऐप– इस ऐप को खासतौर से बच्चों और महिलाओं की सुरक्षा के लिए बनाया गया है। अगर आपको रात में अकेले चलते समय डर लगता है, तो ये आपके बहुत काम आ सकता है। इसमें वॉइस एक्टिवेशन, लाइव स्ट्रीमिंग, ऑडियो, वीडियो रिकॉर्डिंग और लोकेशन ट्रैकिंग जैसे स्पेशल फीचर्स मौजूद हैँ। इस ऐप्लीकेशन का इस्तेमाल करके हिंसा, यौन उत्पीड़न और रेप जैसे अपराधों के सबूत इकट्ठे किए जा सकते हैं। इसमें एसओएस बटन दबाने पर इमरजेंसी कॉन्टेक्ट नंबर को तुरंत लोकेशन शेयर हो जाती है।
योर सेफ मोबाइल ऐप-यह मोबाइल एप्लीकेशन उस समय भी काम करती है, जब महिलाएं खतरे में होती हैं और अपने स्मार्ट फोन का उपयोग नहीं कर सकती हैं। यह मोबाइल एप्लीकेशन परिजनों को महिला की लाइव ट्रैकिंग करने में मदद करता है। इसमें सिर्फ ऑनलाइन अपराध ही नहीं, बल्कि ऑनलाइन अपराधियों से बचने के लिए फेक कॉल अलर्ट भी दिए जाते हैं। इसकी सबसे खास बात हैंड्स फ्री एसओएस अलर्ट ट्रिगर है।
आई एम सेफ मोबाइल ऐप-यह मोबाइल एप्लीकेशन खास-तौर पर ऐसी महिलाओं के लिए डिजाइन किया गया है, जिन्हें सिर्फ व्हाट्स एप्प और फेसबुक चलाना आता है। यानी मोबाइल एप्लीकेशन ऑपरेट करना नहीं आता है। ट्रैक मी फीचर की मदद से महिलाओं की रियल टाइम ट्रैकिंग की जा सकती है। इसमें आपातकाल में क्विक अलर्ट की सुविधा है।
रक्षा ऐप– यह ऐप मुसीबत की घड़ी में यूजर के परिवार के लोगों को उसकी करंट लोकेशन के बारे में बताता है। इसकी खासियत है कि भले ही यूजर का फोन स्विच ऑफ हो जाए या फिर नो नेटवर्क में रहे, तब भी यूजर अपने परिवार वालों को तीन सेकंड के लिए वॉल्यूम की दबाकर अलर्ट कर सकते हैं। ये वहां भी काम करता है, जहां इंटरनेट की सुविधा नहीं होती।
112 इंडिया ऐप– महिला एवं बाल विकास मंत्रालय और गृह मंत्रालय के संयुक्त प्रयास से महिला सुरक्षा के लिए निर्भया पहल के तहत घर से दूर अकेली रहने वाली महिलाओं को यह ऐप तुरंत डाउनलोड कर लेना चाहिए। इसे महिलाओं की इमरजेंसी कंडीशन में हेल्प के लिए बनाया गया है। इस ऐप में अलग-अलग इमरजेंसी सर्विस उपलब्ध है। यह सर्विस इमरजेंसी कंडीशन को ईआरएस तक पहुंचाती है और आस-पास के रजिस्टर्ड स्वयं सेवकों को भी सूचित करती है। यह ऐप देश के 36 राज्यों में काम करता है। इसका इस्तेमाल बड़ी ही सावधानी से करने की सलाह दी जाती है।
स्मार्ट 24*7 ऐप- यह ऐप आपको घर से बाहर ही नहीं, बल्कि शहर से बाहर भी सुरक्षा प्रदान करता है। यह ऐप भारत के कई राज्यों में लॉन्च किया गया है। यह किसी इमरजेंसी की स्थिति में इमरजेंसी कॉन्टेक्ट को पैनिक अलर्ट भेजने के साथ वॉइस रिकॉर्डिंग भी करता है। इतना ही नहीं पैनिक सिच्युएशन के दौरान फोटो भी भेजता है। जो पुलिस के साथ भी शेयर की जा सकती है।
शेक 2 सेफ्टी ऐप– इस ऐप की खासियत यह है कि यूजर फोन को हिलाकर या पावर बटन को चार बार दबाकर अपने परिवार और मित्रों को संदेश भेज सकती है। फोन को शेक करने के ऑप्शन को यूजर कभी भी एक्टिवेट और डिएक्टिवेट कर सकती है। ऐसी स्थिति में जहां यूजर स्मार्टफोन का इस्तेमाल करने में असमर्थ है, वहां पर यह यह ऐप बहुत फायदेमंद है। क्योंकि इमरजेंसी की स्थिति में इस ऐप के द्वारा इमरजेंसी संदेश भेजना बहुत आसान है।
हिम्मत प्लस ऐप – दिल्ली पुलिस ने इस ऐप को खास महिलाओं के लिए पेश किया है। इस ऐप को प्रयोग करने के लिए यूजर को सबसे पहले दिल्ली पुलिस की साइट पर जाकर अपने आपको रजिस्टर करना होगा। यूजर को इस ऐप में एसओएस बटन की सुविधा मिलेगी, जिससे आपातकाल की स्थिति में यूजर की लोकेशन, ऑडियो और वीडियो सीधा पुलिस कंट्रोल रूम तक पहुंच जाएगी। वहीं इस ऐप के लिए किसी तरह का चार्ज नहीं देना होगा।
महिला सुरक्षा ऐप– यह ऐप किसी इमरजेंसी के समय यूजर की आवाज का 45 सेकंड का संदेश, वीडियो और लोकेशन आपातकालीन नंबर पर भेज सकता है। आपको बस एक बटन दबाना है और ई-मेल आपके प्रियजनों को गूगल मैप में आपके स्थान के साथ भेज दिया जाता है, साथ ही फ्रंट कैमरा और बैक कैमरे से भी तस्वीरें खींची जाती है। इन तस्वीरों को एक लिंक के जरिए देखा जा सकता है, जो मेल के द्वारा भेजा जाता है।
हर दिन देश में हो रही कोई ना कोई घटना महिलाओं का मनोबल तोड़ देती है। इस दिशा में सरकार और पुलिस की मदद के अलावा महिलाओं को भी कोई ठोस कदम उठाना चाहिए। अपराधों के खिलाफ लड़ने के लिए हर महिला को अपनी सुरक्षा के प्रति जिम्मेदार और सजग रहने की जरूरत है। ऐसे में यह एप्लीकेशन हर लड़की के स्मार्टफोन में सुरक्षा के लिए जरूरी हैं।