प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 16 दिसंबर को करेंगे प्राकृतिक खेती पर बात
गाँव कनेक्शन | Dec 14, 2021, 12:02 IST
किसानों को जीरो बजट पर प्राकृतिक खेती के लिए प्रेरित करने के लिए गुजरात के आणंद में आयोजित कृषि और खाद्य प्रसंस्करण के राष्ट्रीय शिखर सम्मेलन में 16 दिसंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी प्राकृतिक खेती पर बात करेंगे।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 16 दिसंबर को कृषि और खाद्य प्रसंस्करण पर राष्ट्रीय शिखर सम्मेलन के समापन सत्र में प्राकृतिक खेती पर बात करेंगे।
यह शिखर सम्मेलन 14 से 16 दिसंबर 2021 तक गुजरात के आणंद में आयोजित होने वाले प्री-इवेंट गुजरात शिखर सम्मेलन से पहले एक हिस्से के रूप में आयोजित किया जा रहा है।
इस सम्मेलन में 5000 किसान शामिल होंगे जो शिखर सम्मेलन में मौजूद रहेंगे। इसके अलावा राज्यों में आईसीएआर के 80 केन्द्रीय संस्थान, कृषि विज्ञान केन्द्र और एटीएमए नेटवर्क भी किसानों को प्राकृतिक खेती के अभ्यास और लाभों के बारे में जानने और इस कार्यक्रम को लाइव देखने के लिए जोड़ेंगे। इसके साथ ही, देश भर के किसान और लोग https://pmindiawebcast.nic.in लिंक के जरिये सम्मेलन से जुड़ सकते हैं या फिर दूरदर्शन पर लाइव देख सकते हैं।
क्या है शून्य बजट प्राकृतिक खेती
पिछले कुछ वर्षों में कृषि की लागत कम करने और मिट्टी के स्वास्थ्य में सुधार लाने के लिए शून्य बजट प्राकृतिक खेती को बढ़ावा दिया जा रहा है।
यह कृषि पद्धतियों को एकल-फसल से विविध बहु-फसल प्रणाली में स्थानांतरित करने पर जोर देता है। देसी गाय, उसका गोबर और मूत्र एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं जिससे कई तरह के प्राकृतिक उत्पाद बीजामृत, जीवामृत और घनजीवमृत खेत पर बनते हैं और अच्छे कृषि उत्पादन के लिए पोषक तत्वों और मिट्टी के जीवन का स्रोत हैं।
अन्य पारंपरिक प्रथाएं जैसे कि बायोमास के साथ मिट्टी में गीली घास डालना या साल भर मिट्टी को हरित आवरण से ढक कर रखना, यहां तक कि बहुत कम पानी की उपलब्धता की स्थिति में भी ऐसे कार्य किए जाते हैं जो पहले वर्ष अपनाने से निरंतर उत्पादकता सुनिश्चित करती हैं।
ऐसी रणनीतियों पर जोर देने और देश के दूर-दराज के क्षेत्रों में किसानों को संदेश देने के लिए गुजरात सरकार 14 दिसंबर से 16 दिसंबर 2021 तक आणंद, गुजरात में प्राकृतिक खेती पर ध्यान देने के साथ कृषि और खाद्य प्रसंस्करण पर एक राष्ट्रीय शिखर सम्मेलन का आयोजन कर रही है। प्रख्यात वक्ताओं को प्राकृतिक खेती के विषय पर अपने विचार साझा करने के लिए आमंत्रित किया गया है। देश भर से 300 से अधिक प्रदर्शकों की प्रदर्शनी एक अतिरिक्त आकर्षण होगी।
यह शिखर सम्मेलन 14 से 16 दिसंबर 2021 तक गुजरात के आणंद में आयोजित होने वाले प्री-इवेंट गुजरात शिखर सम्मेलन से पहले एक हिस्से के रूप में आयोजित किया जा रहा है।
इस सम्मेलन में 5000 किसान शामिल होंगे जो शिखर सम्मेलन में मौजूद रहेंगे। इसके अलावा राज्यों में आईसीएआर के 80 केन्द्रीय संस्थान, कृषि विज्ञान केन्द्र और एटीएमए नेटवर्क भी किसानों को प्राकृतिक खेती के अभ्यास और लाभों के बारे में जानने और इस कार्यक्रम को लाइव देखने के लिए जोड़ेंगे। इसके साथ ही, देश भर के किसान और लोग https://pmindiawebcast.nic.in लिंक के जरिये सम्मेलन से जुड़ सकते हैं या फिर दूरदर्शन पर लाइव देख सकते हैं।
356957-zero-budget-natural-farming-increase-income-of-farmers-prime-minister-narendra-modi-national-summit-on-agro-and-food-processing-2
क्या है शून्य बजट प्राकृतिक खेती
पिछले कुछ वर्षों में कृषि की लागत कम करने और मिट्टी के स्वास्थ्य में सुधार लाने के लिए शून्य बजट प्राकृतिक खेती को बढ़ावा दिया जा रहा है।
यह कृषि पद्धतियों को एकल-फसल से विविध बहु-फसल प्रणाली में स्थानांतरित करने पर जोर देता है। देसी गाय, उसका गोबर और मूत्र एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं जिससे कई तरह के प्राकृतिक उत्पाद बीजामृत, जीवामृत और घनजीवमृत खेत पर बनते हैं और अच्छे कृषि उत्पादन के लिए पोषक तत्वों और मिट्टी के जीवन का स्रोत हैं।
Hon'ble Prime Minister Shri @narendramodi Ji will address the National Conference on "Natural Farming (Zero Budget #NaturalFarming)" on 16th Dec, 2021 at 11:00 AM.
Register for the program via https://t.co/L7drQLfKd8 pic.twitter.com/y2cZdwnHo5
— Agriculture INDIA (@AgriGoI) December 14, 2021
ऐसी रणनीतियों पर जोर देने और देश के दूर-दराज के क्षेत्रों में किसानों को संदेश देने के लिए गुजरात सरकार 14 दिसंबर से 16 दिसंबर 2021 तक आणंद, गुजरात में प्राकृतिक खेती पर ध्यान देने के साथ कृषि और खाद्य प्रसंस्करण पर एक राष्ट्रीय शिखर सम्मेलन का आयोजन कर रही है। प्रख्यात वक्ताओं को प्राकृतिक खेती के विषय पर अपने विचार साझा करने के लिए आमंत्रित किया गया है। देश भर से 300 से अधिक प्रदर्शकों की प्रदर्शनी एक अतिरिक्त आकर्षण होगी।