पाकिस्तान के परमाणु हथियारों को असल ख़तरा आतंकवादियों से नहीं बल्कि सेना से है: मेनन
गाँव कनेक्शन 13 Oct 2016 8:59 AM GMT

वॉशिंगटन (भाषा)। भारत के पूर्व राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार शिवशंकर मेनन ने कहा है कि पाकिस्तान के परमाणु हथियारों को असल खतरा आतंकवादी संगठनों से नहीं बल्कि उसकी सेना के भीतर मौजूद अस्थिर तत्वों से है।
मेनन ने कहा कि आतंकवादी के पास तबाही मचाने के लिए अपेक्षाकृत सस्ते और आसान माध्यम हैं। परमाणु हथियार जटिल उपकरण हैं जिनका प्रबंधन करना, इस्तेमाल करना और उन्हें पहुंचाना मुश्किल होता है और इसके लिए उच्च स्तर के कौशल की आवश्यकता होती है। मेनन ने अपनी पुस्तक ‘‘च्वाइसेस: इनसाइड द मेकिंग ऑफ इंडियाज फॉरेन पॉलिसी'' में कहा है, ‘‘मेरे हिसाब से, (परमाणु हथियारों को) असल खतरा अंदर के लोगों, किसी पाकिस्तानी पायलट या किसी ऐसे ब्रिगेडियर से है, जो आदेश दिए जाने पर या उसके बिना ही परमाणु जिहाद शुरु करने का निर्णय लेते हैं।''
उन्होंने कहा कि विश्व में एकमात्र पाकिस्तान का ऐसा परमाणु हथियार कार्यक्रम है जिस पर केवल सेना का नियंत्रण है। मेनन ने कहा, ‘‘इस बात के मजबूत कारण हैं कि किसी अन्य देश ने इस रास्ते पर चलने का विकल्प क्यों नहीं चुना।''
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