डॉ. अय्यूब को बचा रही पुलिस

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डॉ. अय्यूब को  बचा रही पुलिसडॉ. अय्यूब रेप के आरोपी ।

गाँव कनेक्शन संवाददाता

लखनऊ। पीस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. अय्यूब खान को बचाने पुलिस जी-जान से लगी है।

मामला दर्ज हुए 23 दिन हो चुके हैं और डॉ. अय्यूब को पुलिस ने गिरफ्तार तक नहीं किया। मृतका के भाई ने आरोप लगाया था कि मड़ियांव पुलिस कोई कदम उठाना ही नहीं चाहती और न ही वह अय्यूब को गिरफ्तार करना चाहती है।

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मृतका के भाई का आरोप था कि विधानसभा चुनाव 2012 में जनसभा के दौरान अय्यूब उसके परिवार से मिले थे और अय्यूब ने उसकी बहन को डॉक्टर बनाने का झांसा देकर लखनऊ ले आये थे। इसके बाद अय्यूब जब लखनऊ आता था तो उसकी बहन का शारीरिक शोषण करता था। बहन की मौत हो जाने के बाद 25 तारीख को मृतका के भाई ने मड़ियांव कोतवाली में मामला दर्ज कराया था। पुलिस सारे शाक्ष्य एकत्र कर चुकी है।

फिर भी अभी तक न्यायालय से वारंट नहीं लिया है। यही नहीं मड़ियांव पुलिस ने मानकों को ताख पर रखकर अय्यूब को उसका पक्ष रखने के लिए कोतवाली बुलाया और फिर वापस कर दिया। इस बाबत मृतका के भाई ने बताया कि सोमवार को उसने संतकबीर नगर अपने आवास पर किसान यूनियन के लोगों के साथ बैठक की। इस मामले में अभी तक मृतका के भाई के बयान हो चुके हैं, जबकि बहन और मां के बयान होने बाकी हैं।

प्रजापति की गिरफ्तारी में दब रहा अय्यूब प्रकरण

सियासत बदलते ही अपनी छवि बचाये रखने के लिए एसएसपी मंजिल सैनी ने आनन-फानन में 16 दिन से फरार चल रहे रेप आरोपी सपा मंत्री गायत्री प्रजापति को गिरफ्तार कर लिया।हालांकि गायत्री की गिरफ्तारी के बाद डॉ. अय्यूब कब गिरफ्तार होगा। इस पर सवाल अब भी बरकरार है। प्रजापति की गिरफ्तारी करके लखनऊ पुलिस ने नयी सरकार से वफादारी तो दिखा दी, लेकिन डॉ अय्यूब की गिरफ्तारी न होना पुलिस का अय्यूब को संरक्षण देने की ओर ही इशारा कर रहा है।

दूसरे थाने में ट्रांसफर हो सकता है केस

डॉ. अय्यूब प्रकरण की जांच किसी दूसरे थाने में स्थानांतरित हो सकती है। मामले के विवेचक इंस्पेक्टर नागेश मिश्रा ने बताया कि अयूब और मृतका की लोकेशन कभी एक साथ मड़ियांव क्षेत्र में नहीं मिली और न ही मड़ियांव क्षेत्र में उसके साथ कोई जबरदस्ती हुई। ऐसे में इंस्पेक्टर ने एसएसपी को पत्र लिखकर मामला दूसरे थाने में स्थानांतरित करने की मांग की है और शाक्ष्य प्रस्तुत किए।

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