कारगिल विजय दिवस : वो तस्वीरें जो भारतीय सेना के संघर्ष की कहानी बयां करती हैं

कारगिल में बर्फीले पहाड़ की चोटियां। शत्रु घात लगाए बैठा था। लगभग 1800 फुट ऊपर पहाड़ियों में छिपा दुश्मन भारतीय जांबाजों को रोकने की हर संभव कोशिश कर रहा था। लेकिन हमारे जांबाज प्राणों की परवाह किए बिना बढ़ते रहे। अपनी बहादुरी का परचम दिखाते हुए दुश्मानों को पीठ दिखाकर भागने पर मजबूर कर दिया।

Vineet BajpaiVineet Bajpai   26 July 2018 4:30 AM GMT

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कारगिल विजय दिवस : वो तस्वीरें जो भारतीय सेना के संघर्ष की कहानी बयां करती हैंकारगिल विजय दिवस

लखनऊ। साल 1999 का वक्त था, करगिल की पहाड़ियों पर पाकिस्तानी घुसपैठियों ने कब्जा जमा लिया था। सेना को जब इस बात का पता चला तो सेना ने उन्हें खदेड़ने के लिए ऑपरेशन विजय चलाया। यह ऑपरेशन आठ मई को शुरू हुआ और 26 जुलाई को खत्म हुआ, जिसमे सेना के 527 जवान शहीद हुए और करीब 1363 जवान घायल हुए। इतने बलिदानों के बाद भारतीय सेना ने कारगिल में तिरंगा फहराया था, तब से हर साल इस दिन कारगिल विजय दिवस के तौर पर मनाया जाता है।

इस 'कारगिल विजय दिवस' के विशेष मौके पर हम आपको कुछ ऐसी तस्वीरें दिखाने जा रहे हैं, जो कारगिल युद्ध के दौरान भारतीय सेना के संघर्ष की कहानी बयां करती हैं।

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पाकिस्तान की सेना और कश्मीरी उग्रवादियों ने भारत और पाकिस्तान के बीच की नियंत्रण रेखा पार करके भारत की ज़मीन पर कब्ज़ा करने की कोशिश की।

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पाकिस्तान ने दावा किया कि लड़ने वाले सभी कश्मीरी उग्रवादी हैं, लेकिन युद्ध में बरामद हुए दस्तावेज़ों और पाकिस्तानी नेताओं के बयानों से साबित हुआ कि पाकिस्तान की सेना प्रत्यक्ष रूप में इस युद्ध में शामिल थी।

भारतीय सेना और वायुसेना ने पाकिस्तान के कब्ज़े वाली जगहों पर हमला किया और धीरे-धीरे अंतर्राष्ट्रीय सहयोग से पाकिस्तान को सीमा पार वापिस जाने को मजबूर किया।

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यह युद्ध ऊँचाई वाले इलाके पर हुआ और दोनों देशों की सेनाओं को लड़ने में काफ़ी मुश्किलों का सामना करना पड़ा।

परमाणु बम बनाने के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच हुआ यह पहला सशस्त्र संघर्ष था।

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भारतीय सेना ने 26 जुलाई को कारगिल में तिरंगा फहराया था।

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