किसान मुक्ति मार्च: पी साईनाथ ने कहा, किसानों की समस्याओं पर संसद में विशेष सत्र बुलाया जाए

Ranvijay SinghRanvijay Singh   29 Nov 2018 5:11 PM GMT

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किसान मुक्ति मार्च: पी साईनाथ ने कहा, किसानों की समस्याओं पर संसद में विशेष सत्र बुलाया जाए

दिल्ली। एक बार फिर दिल्ली में किसानों ने दो दिन का डेरा डाल दिया है। इस बार देश भर से किसान दिल्ली पहुंचे हैं। सभी किसान मार्च करते हुए रामलीला मैदान में इकट्ठा हुए हैं। जहां से सुबह संसद मार्ग के लिए मार्च शुरु होगा।

आंध्र प्रदेश, गुजरात, कर्नाटक, केरल, मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, तमिलनाडु और तेलंगाना से आने वाले किसान निजामुद्दीन रेलवे स्टेशन के पास मौजूद गुरुद्वारा पहुंचे जहां से 11.30 बजे मार्च रामलीला मैदान की ओर निकल चुके हैं। कुछ किसान रामलीला मैदान पहुंच भी चुके हैं।

उत्तर प्रदेश से रामलीला मैदान रामपुर से पहुंचे बलवीर सिंह कहतें हैं "मेरे पास जो धान था वो कीड़ा खा गया, बच्चों की पढ़ाई रुकी है। उधर बैंक वाले लगातार परेशान कर रहे हैं। ऐसे में मेरे पास गोली खाने के अलावा कोई विकल्प नहीं है। मेरे जैसे न जाने कितने किसान गोली खाकर आत्महत्या कर लेते हैं। सरकार बस वादे करती है।"

प्रदर्शन में आए तमिलनाडु के किसानों ने कहा है कि अगर उन्हें शुक्रवार को संसद भवन नहीं जाने दिया गया तो वो नग्न होकर मार्च करेंगे। किसानों का ये समूह आत्महत्या कर चुके अपने साथी किसानों की खोपड़ियां लेकर विरोध प्रदर्शन में शामिल होने गुरुवार को दिल्ली पहुंचा। तमिलनाडु में कर्ज नहीं चुका पाने की वजह से 700 से ज्यादा किसान आत्महत्या कर चुके हैं।


वहीं प्रदर्शन में शामिल हुए पी साईनाथ ने गांव कनेक्शन से विशेष बातचीत में कहा "किसानों के मुद्दों के लेकर संसद में विशेष सत्र बुलाना चाहिए। जो कि तीन हफ्ते तक चलना चाहिए। दोनों बिलों पर चर्चा होनी चाहिए। इसके अलावा महिला किसानों पर भी बात होनी चाहिए। साउथ को बहुत बड़ा क्षेत्र सूखे की चपेट में है। युवाओं के सामने नौकरी की चिंता है।"

साईनाथ आगे बताते हैं पिछले 20-25 सालों में सरकार खेती किसानों से छीन रही है। और अब किसानों का संकट बस उनका संकट नहीं रहा गया है। यह संकट पूरे समाज पर है।


पंजाब, उत्तराखंड और हरियाणा से आने वाले किसान किशनगंज सब्जी मंडी में पहुंचे। यहां से मार्च 11 बजे निकला। बता दें इस किसान मार्च में 206 किसान संगठन शामिल हैं। इन किसान संगठनों से जुड़े लाखों किसान 29 नवंबर को दिल्ली पहुंचे।

वहीं किसाने नता सरदार वीएम सिंह ने गांव कनेक्शन से कहा "2019 तक लोहा गरम रहेगा। किसानों को हथौड़ा मारना होगा। प्रधानमंत्री जी ने कहा था सबका साथ, सबका विकास, लेकिन सरकार अपना वादा भूल गई है। हमारी दो महत्वपूर्ण मांगे हैं। सरकार बार-बार कह रही है कि हमने किसानों की आया बढ़ा दी है, लेकिन यह झूठ है।"

स्वराज इंडिया से जुड़े बंगाल, बिहार, ओडिशा, उत्तर प्रदेश, तमिलनाडु, कर्नाटक, केरल, आंध्र प्रदेश, राजस्थान, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ के किसान दिल्ली पहुंचे हैं। पंजाब, हरियाणा और आसपास के अन्य राज्यों के आंदोलनकारी भी इस आंदोलन में शामिल हो रहे हैं। रामलीला मैदान में गुरुवार की शाम को किसानों के लिए 'एक शाम किसानों के नाम' सांस्कृतिक संध्या का आयोजन होग।


स्वराज इंडिया के योगेंद्र यादव ने कहा "लोकसभा चुनाव सामने हैं। हमारी सरकार से दो मांगे हैं। संसद के विशेष सत्र में दोनों बिल पास हों। पहला संपूर्ण कर्जमाफी, यानि किस्तों में नहीं, एक बार किसान पर जिनता कर्जा है पूरा माफ किया जाए और सबका माफ हो। दूसरा लागत पर डेढ़ गुना समर्थन मूल्य, वो भी गारंटी के साथ, मतलब जिनता किसान के खेत में पैदा हो पूरा खरीदा जाए।"

निजामुद्दीन रेलवे स्टेशन से रामलीला मैदान तक ऐसे जाएंगे किसान

किसान मार्च को लेकर दिल्ली पुलिस ने किसानों को रामलीला ग्राउंड तक आने की अनुमति दी है। दिल्ली पुलिस का कहना है कि रामलीला ग्राउंड तक किसान जैसे चाहे वैसे आ सकते हैं। उसके आगे जाने की इजाजत के लिए पुलिस के आला अधिकारियों की बातचीत हो रही है। गुरुवार को सुबह ही दिल्ली पुलिस साफ करेगी कि किसानों को कहां तक जाने दिया जाएगा।


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