'सरकारी कर्मचारी हड़ताल करता है तो उसकी तनख्वाह बढ़ जाती है, लेकिन किसानों की सुनने वाला कोई नहीं'

मंदसौर कांड की बरसी पर एक सभा का आयोजन हुआ, जिसमें कई राज्यों के किसान पहुंचे। किसानों का कहना था कि उनकी उपज का सही दाम नहीं मिल रहा।

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मंदसौर। मध्य प्रदेश के मंदसौर कांड की बरसी के मौके पर पिपालियामंडी में एक सभा का आयोजन किया, जिसमें कई राज्यों के किसान पहुंचे। सभा में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी भी पहुंचे और भाजपा सरकार पर जमकर निशाना साधा। गाँव कनेक्शन के संवाददाता ने कुछ किसानों से बात की। किसानों का गुस्सा सातवें आसमान पर था। किसान राज्य और केंद्र सरकार से नाराज है। किसानों का कहना था कि उनकी उपज का सही दाम नहीं मिल रहा है। राहुल गांधी की रैली में जा रहे लोगों से बातचीत का कुछ अंश पढ़िए...

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रतलाम से आए किसान रामदीन ने बताया, " गुजारत से अभी तक देश को दो प्रधानमंत्री मिले हैं मोरार जी देसाई और नरेंद्र मोदी। दोनों ही प्रधानमंत्रियों ने किसानों को सड़क पर ला दिया है। मोदी सरकार में किसानों की सुनने वाला कोई नहीं है। किसान परेशान और मोदी जी अच्छे दिन लाने की बात करते हैं।"










किसान श्याम लाल ने बताया," किसानों की सबसे बड़ी समस्या यही है कि किसानों को फसल के भाव नहीं मिल रहे हैं। कोई सरकारी कर्मचारी हड़ताल करता है तो उसकी तनख्वाह बढ़ जाती है। यहां हमारे किसान इतने दिनों से प्रदर्शन कर रहे हैं लेकिन उनकी सुनने वाला कोई नहीं है। किसानों की कोई इज्जत नहीं है। किसानों ने बताया कि मंडी में गेहूं की कीमत तो 1600 रुपए प्रति क्विंटल है। हमें भावान्तर योजना नहीं चाहिए। इसे बंद कर देना चाहिए। "

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2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने के सवाल पर किसानों का कहना था, " मोदी एक अच्छे प्रधानमंत्री हैं, लेकिन किसानों के लिए कुछ भी नहीं किया। पिछले साल हड़ताल पर बैठे किसानों में से छह किसनों को मार दिया। किसान अपनी समस्या लेकर किसके पास जाए। किसानों की सुनने वाला कोई नहीं है। हम किसान बस यही चाहते हैं कि मंडी में हमारे उनाज और उपज का सही दाम मिले।"इस्माइल नाम के किसान ने बताया, "सरकार ने कहा था कि किसानों का कर्ज माफ किया जाएगा लेकिन चार साल बीतने के बावजूद अभी तक कर्ज माफ नहीं किया गया। अगर कर्ज माफ किया जाएगा तो किसानों को फायदा होगा। पेट्रोल और डीजल का दाम बढ़ा दिया लेकिन किसानों की उपज का सही दाम नहीं मिल रहा है। सरकार ने हमारा तेल शक्कर बंद कर दिया।" वहीं कुछ किसानों का कहना है कि सरकार हर चीज में सब्सिडी दे रही है। हमें सब्सिडी नहीं चाहिए हमें हमारी फसल की उचित कीमत चाहिए।

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