सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला आया है, सभी राज्यों को 31 जुलाई तक एक देश एक राशन कार्ड व्यवस्था लागू करने को कहा है। अभी केवल 17 राज्यों में यह स्कीम लागू है।
इसके साथ ही कोर्ट ने कहा कि केंद्र सरकार 31 जुलाई तक असंगठित मज़दूरों के रजिस्ट्रेशन के लिए पोर्टल तैयार करें। कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि राज्य मज़दूरों को मुफ्त राशन देने की योजना तैयार करें, केंद्र सरकार राशन उपलब्ध करवाए। साथ ही महामारी तक सामुदायिक रसोई जारी रहे।
SC directs Centre to develop portal with help of NIC by July 31 for registration of unorganised sector workers,giving them benefits
— Press Trust of India (@PTI_News) June 29, 2021
सुप्रीम कोर्ट ने इस दौरान श्रम मंत्रालय को फटकार लगाई, अदालत ने कहा कि असंगठित क्षेत्र के मजदूरों को रजिस्ट्रेशन के लिए इंतजार करना पड़ रहा है, उन्हें केंद्र-राज्य की ओर से स्कीम का फायदा नहीं मिल रहा है, ऐसे में श्रम मंत्रालय का काम माफ करने लायक नहीं है। ऐसे वक्त में नेशनल डाटा के पोर्टल के काम को जल्द पूरा करना चाहिए था।
एक देश-एक राशन कार्ड के तहत कोई भी व्यक्ति अपने राशन कार्ड की मदद से देश के किसी भी हिस्से में सरकारी दुकान से राशन ले सकते हैं। केंद्र सरकार की ओर से कोरोना संकट के बीच नवंबर, 2021 तक मुफ्त राशन की स्कीम चालू की गई है, इसके अलावा कई राज्य सरकारें भी अपने स्तर पर मुफ्त राशन दे रही हैं।
प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना PMGKY के तहत राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के तहत लाभार्थी कार्ड धारकों (अंत्योदय और पात्र गृहस्थी) के लोगों को नवंबर 2021 तक 5 किलो अनाज प्रति यूनिट मुफ्त मिलेगा।