किसान आंदोलन को लेकर उठाए जा रहे इन 5 पांच सवालों को योगेंद्र यादव ने बताया झूठ, कहा- बिना लीडरशिप के नहीं है ये आंदोलन

दिल्ली में चल रहे किसान आंदोलन को 5 दिन हो गये। अभी तक सरकार की ओर से की गई पहल नाकाम ही साबित हुई है। इस बीच योगेंद्र यादव ने बताया कि इस आंदोलन को लेकर कई झूठ फैलाये जा रहे हैं।

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yogendra yadav, farmers protest, delhi farmers protestसोमवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किसान संगठन के नेता।

कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का आंदोलन जारी है। दिल्ली बॉर्डर और बुराडी मैदान में डंटे किसानों ने अभी तक सरकार के हर प्रस्ताव को ठुकरा दिया है, जबकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर समेत कई केंद्रीय मंत्री इस बात पर लगातार जोर दे रहे हैं कि नया कृषि कानून किसान हित में हैं।

किसान संगठनों द्वारा बनाये गये किसान संयुक्त मोर्चा के सदस्य प्रतिदिन प्रेस कॉन्फ्रेंस कर आगे की रणनीतियों के बारे में बता रहे हैं। सोमवार 30 नवंबर को हुई प्रेस कॉन्फ्रेंस में किसान संयुक्त मोर्चा के सदस्य और स्वराज इंडिया पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष योगेंद्र यादव ने इस किसान आंदोलन को लेकर उठाए जा रहे 5 सवालों को झूठ बताया, उन्होंने कहा कि सच्चाई वो नहीं जो फैलाई जा रही है, उन्होंने इन सवालों के जवाब भी दिए

ये पांच झूठ क्या हैं और योगेंद्र यादव ने इस पर क्या कहा-

1- आंदोलन बिचौलियों का है?

प्रेस कॉन्फ्रेंस में योगेंद्र यादव ने कहा कि इस किसान आंदोलन के बारे में झूठ फैलाया जा रहा है कि यह आंदोलन बिचौलियों का है। यह आंदोलन किसानों का नहीं है। उन्होंने पत्रकारों से कहा कि आप खुद देखिये। आंदोलन में शामिल कितने आढ़ती हैं, कितने बिचौलिएं हैं। कौन झूठ बोल रहा है, यह पता चल जायेगा। यह झूठ आंदोलन को कमजोर करने के लिए फैलाया जा रहा है। आंदोलन किसानों का है।

2- किसानों को तो कुछ पता ही नहीं है?

उन्होंने कहा कि आंदोलन के बारे में यह झूठ भी फैलाया जा रहा है कि किसानों को तो कुछ पता ही नहीं है, अगर पता नहीं होता तो किसान यहां तक आता हीं नहीं। किसान सारी मुश्किलों को तोड़कर यहां तक पहुंचता ही नहीं। आज पंजाब का बच्चा-बच्चा जानता है कि किसानों का ये आंदोलन क्यों किया जा रहा है। पंजाब में पंचायतें हो रही हैं। कृषि कानूनों की सच्चाई सब जानते हैं। किसान नहीं जानते, ये बातें बंद होनी चाहिये।

3- आंदोलन में सिर्फ पंजाब के किसान हैं?

योगेंद्र यादव ने कहा कि एक झूठ बोला जा रहा कि आंदोलन में बस पंजाब के किसान शामिल हैं, यह झूठ है। मेरे साथ मंच पर मध्य प्रदेश के कक्का जी बैठे हैं। मेधा पाटकर जी अभी बोलकर गई हैं। उत्तर प्रदेश के किसान लगातार आंदोलन में शामिल हो रहे हैं कि दिल्ली सीमा पर डंटे हुए हैं। उत्तराखंड के तराई क्षेत्रों से किसान प्रदर्शन कर रहे हैं। ये झूठ है कि आंदोलन बस पंजाब के किसानों का है। हां ये बात सही है कि पंजाब के किसान इस आंदोलन को लीड कर रहे हैं।

किसान संगठनों की प्रेस कॉन्फ्रेंस

4- बिना किसी लीडर का आंदोलन

योगेंद्र यादव ने कहा कि आंदोलन को लेकर एक झूठ यह भी बोला जा रहा है कि ये बिना किसी लीडरशिप के है। इस आंदोलन का कोई लीडर नहीं है। ये बात बिल्कुल झूठ है। राष्ट्रीय स्तर पर एक महीने पहले ही संयुक्त किसान मोर्चा बना था, जिसके नेतृत्व में ये आंदोलन चल रहा है। इसमें कई किसान संगठन हैं। कई सदस्य हैं, जिनमें से एक मैं भी हूं। लीडरशिप है, ये कोई अराजक आंदोलन नहीं है। देश के अलग-अलग हिस्सों के किसान संगठन इस आंदोलन से जुड़े हैं।

5- आंदोलन राजनीतिक पार्टियां कर रही हैं?

उन्होंने कहा कि ये झूठ भी फैलाया जा रहा है कि ये आंदोलन राजनीतिक पार्टियां कर रही हैं। आप सभी को याद होगा इन्हीं किसानों ने कैप्टन अमरिंदर सिंह के खिलाफ भी मोर्चा खोला था। ये भी सब को याद रखना चाहिये। अब ये किसान मोदी सरकार के खिलाफ हैं। ये कहना बिल्कुल गलत है कि ये किसी राजनीतिक पार्टी का आंदोलन है।

 

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