वर्चुअल देश किंगडम ऑफ दीक्षित के नए राजा ने पोहा-जलेबी को अपना राष्ट्रीय व्यंजन बनाया 

Sanjay SrivastavaSanjay Srivastava   19 Nov 2017 1:59 PM GMT

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वर्चुअल देश किंगडम ऑफ दीक्षित के नए राजा ने पोहा-जलेबी को अपना राष्ट्रीय व्यंजन बनाया सुयश ने देश नाम ‘किंगडम ऑफ दीक्षित’ रखा है।

इंदौर (भाषा)। किंगडम ऑफ दीक्षित के सुल्तान सुयश दीक्षित प्रथम इन दिनों काफी मसरुफ हैं। दुनियाभर से लोग उन्हें कॉल कर रहे हैं, ऑनलाइन सन्देश भेज रहे हैं और उनके नए-नवेले मुल्क की नागरिकता लेना चाहते हैं। किंगडम ऑफ दीक्षित दरसअल एक वर्चुअल मुल्क है।

भारतीय कम्प्यूटर इंजीनियर सुयश दीक्षित (24) ने पखवाड़ेभर पहले सोशल मीडिया पर इसके बारे में घोषण की थी। इंदौर में एक आईटी फर्म चलाने वाले नौजवान ने फेसबुक पर लिखा था कि मिस्र और सूडान की सीमा पर करीब 2,060 वर्ग किमी में फैला लावारिस इलाका बीर तवील अब किंगडम ऑफ दीक्षित के नाम से जाना जाएगा और वह इस वर्चुअल मुल्क के नए सुल्तान होंगे।

स्वघोषित सुल्तान पांच नवंबर को इस रेगिस्तानी इलाके में खुद पहुंचकर वहां अपना राष्ट्रीय झंडा भी लगा चुके हैं। छिपकली को अपने वर्चुअल मुल्क का राष्ट्रीय जानवर घोषित करने के बाद अब उन्होंने तय किया है कि पोहा-जलेबी (इंदौर का मशहूर नाश्ता) इस जगह का राष्ट्रीय व्यंजन होगा।

दीक्षित की इन घोषणाओं का सोशल मीडिया पर खूब मजाक भी बनाया जा रहा है लेकिन बीर तवील के स्वघोषित सुल्तान का कहना है कि वह कुछ गंभीर योजनाओं का खाका तैयार कर रहे हैं।

दीक्षित ने कहा, हां, मैं अच्छी तरह जानता हूँ कि मेरी घोषणाओं से जुड़ी कई बातें मजाकिया हैं लेकिन मैं अपने वर्चुअल देश के बहाने एक ऐसा ऑनलाइन प्लेटफॉर्म तैयार करना चाहता हूं, जिस पर लोग दुनिया की बेहतरी के लिए अपने आइडिया साझा कर सकें, अपनी नवाचारी परियोजनाओं पर चर्चा कर कर सकें और स्थानीय से लेकर वैश्विक समस्याओं तक के समाधान खोज सकें।

उन्होंने दावा किया कि अब तक उन्हें दुनियाभर के 5,000 से ज्यादा लोगों ने सन्देश भेजकर उनके वर्चुअल मुल्क की नागरिकता दिए जाने का अनुरोध किया है, कई लोगों ने उन्हें इस बारे में सुझाव भी दिये हैं कि उन्हें यह मुल्क किस तरह चलाना चाहिए।

दीक्षित ने कहा, मुझ पर बड़ी जिम्मेदारी है कि मैं अपने वर्चुअल मुल्क को लेकर जारी चर्चा को सही दिशा में ले जाऊं। मैं अपनी योजनाओं को लेकर जल्द ऑनलाइन मसौदा पेश करुंगा और लोगों से इस पर सुझाव मांगूंगा ताकि एक ठोस नीति को आकार दिया जा सके, बीर तवील के स्वघोषित सुल्तान ने कहा, मैं जानता हूँ कि मेरे लिए इस रेगिस्तानी इलाके में हमेशा रह पाना मुमकिन नहीं है लेकिन भगवान ने चाहा, तो मैं जल्द इस जगह की यात्रा करुंगा।

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उन्होंने बताया, जब मैं कुछ दिन पहले इस रेगिस्तानी इलाके में पहली बार पहुंचा, तो मुझे वहां दो छिपकलियों के अलावा न तो कोई इंसान दिखाई दिया, न ही कोई जानवर। लिहाजा मैंने छिपकली को ही अपने वर्चुअल मुल्क का राष्ट्रीय जानवर घोषित कर दिया।

दीक्षित ने कहा, चूंकि मैं इंदौर से ताल्लुक रखता हूं और पोहा-जलेबी इस शहर के लोगों का पसंदीदा नाश्ता है, इसलिए मैंने पोहा-जलेबी को अपने वर्चुअल मुल्क का राष्ट्रीय व्यंजन घोषित किया, ताकि इस नाश्ते की ख्याति पूरी दुनिया में फैल सके। मैं जल्द ही इस मुल्क के कुछ और राष्ट्रीय प्रतीक घोषित करुंगा।

बहरहाल, सुयश दुनिया के पहले व्यक्ति नहीं हैं जिन्होंने बीर तवील पर दावा किया है। गुजरे बरसों में उनसे पहले भी कई लोगों और संस्थाओं की ओर से ऐसे दावे किए जा चुके हैं, ऐसे अधिकांश दावे सोशल मीडिया और ऑनलाइन माध्यमों के जरिए किए गए हैं. हालांकि, अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इन दावों को गंभीरता से नहीं लिया गया है।

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