मलिहाबाद (लखनऊ)। लखनऊ के लोगों को भले अभी दशहरी के लिए इंतजार करना पड़े लेकिन दिल्ली वालों के लिए पहली खेप रवाना हो चुकी है। दशहरी की टूट शुरू होने के साथ ही देश, प्रदेश व विभिन्न जिलों की मण्डियों के आढ़ती आम व्यवसायियों व एजेन्टों से सम्पर्क तेज कर अपनी आढ़तों पर आम भेजने का दबाव बनाने लगे हैं।
मण्डी से बार-बार आ रही मांग को देखते हुए क्षेत्र के जय दुर्गा किसान ट्रांसपोर्ट कम्पनी के मालिक रमेश द्विवेदी व अभिषेक अवस्थी ने बागवानों से सम्पर्क करके बागों से दशहरी की टूट करा पेटियों में भरकर सड़क मार्ग से ट्रक द्वारा दिल्ली मण्डी के लिए रवाना कर दिया। मण्डी में इसकी बिक्री होने पर खुले भाव को देखकर आम की टूट भारी मात्रा मे शुरू हो जाएगी। पंजाब, हरियाणा, अमृतसर, मुम्बई, जालन्धर, कानपुर, इटावा, सुल्तानपुर सहित स्थानीय मण्डी के अतिरिक्त अन्य मण्डियों मे दशहरी की आवत एक जून से प्रारम्भ होगी।
मण्डियों मे आढ़ती के पास बिक्री के लिए आम भेजने वाले एजेन्टों ने भी कमर कस ली है। खाली लकड़ी की पेटियों, गत्ते की पेटियों व प्लास्टिक के कैरटों की भारी खरीद कर एजेन्टों ने अपने गोदाम भर लिए हैं। यह सामग्री यह एजेन्ट बागवानों को टूटे आम की भराई के लिए उपलब्ध कराने लगे हैं।
प्रमुख आम उत्पादक अहसन अजीज खां बताते हैं, “दशहरी का पकना 5 जून के बाद शुरू होगा तभी यह आम अपने पूरे सवाब पर आकर अपना रंग रूप बिखेरते हुए लाजवाब स्वाद लोगों को देगा। इस वर्ष पेड़ों मे आम की फलत अच्छी है। किन्तु बागों की सिंचाई के अभाव मे आम का साइज अपना भरपूर स्थान नहीं ले पाए हैं।”
गत कई वर्षों से क्षेत्र के ग्राम सरावां के पास बन रही अंतर्राष्ट्रीय मण्डी का कार्य पूरा नहीं हो सका, जिसके कारण इस वर्ष भी लखनऊ हरदोई राजमार्ग की दोनों तरफ पटरियों पर ही बिकेगा। बागों में टूट रही दशहरी को व्यापारी खरीदकर रासायनिक तत्वों के माध्यम से पाल लगाकर पकाएंगें। इसे पकने मे एक सप्ताह का समय लगेगा। पाल से पकी दशहरी बाजारों मे इस माह के अन्तिम सप्ताह मे बिकती दिखाई देगी।
रिपोर्टर – सुरेन्द्र कुमार