निर्भया गैंगरेप केस : सुप्रीम कोर्ट ने सुनाया फैसला, दोषियों की मौत की सजा बरकरार

Mohit AsthanaMohit Asthana   5 May 2017 2:30 PM GMT

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निर्भया गैंगरेप केस : सुप्रीम कोर्ट ने सुनाया फैसला, दोषियों की मौत की सजा बरकरारआज मिलेगा निर्भया को इन्साफ।

लखनऊ। निर्भया गैंगरेप मामले में चारों आरोपियों की मौत की सजा को आज सुप्रीम कोर्ट ने बरकरार रखा है।16 दिसंबर 2012 हिंदुस्तान का ऐसा दिन जिसकी कल्पना किसी ने भी नहीं की होगी कि रविवार का वो दिन पूरे देश को शर्मसार कर देगा। ये वही दिन था जिस दिन देश की बेटी निर्भया के साथ वो हुआ जिसके बारे में उसने कभी सोचा भी नहीं होगा। बताते चले 16 दिसंबर की रात निर्भया अपने दोस्त फीजियोथेरेपिस्ट अवनिन्द्र के साथ लाइफ ऑफ पाई मूवी देखने के बाद घर जाने के लिये बस स्टैंड के पास खड़े होकर दोनों बस का इंतजार कर रहे थे।

कुछ समय बाद तकरीबन 9.15 बजे सफ़ेद रंग की बस में दोनों स्वर हो गये। बस चलते ही परिचालक ने बस का दरवाजा बंद कर दिया। कुच्दूर जाने के बाद बस के परिचालक व उसके साथियों ने लड़की के साथ छेड़खानी शुरूकर थी। विरोध करने पर अवनिन्द्र की राड से बुरी तरह से पिटाई की गई थी। इसके बाद युवती के साथ वो घिनौना कृत्य हुआ जिसने पूरे देश को हिला कर रख दिया। युवती के साथ बस में करीब 20 किलोमीटर तक दरिंदों ने मुह काला किया। उसके बाद दोषियों ने महिपालपुर में होटल एरिया के सामने चलती बस से दोनों को निर्वस्त्र हालत में युवती को नीचे फेंक दिया था।

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रात करीब सवा दस बजे दिल्ली कैंट थाने को सूचना मिली कि महिपालपुर से दिल्ली कैंट की तरफ आने पर जीएमआर कंपनी के गेट नंबर एक के सामने एक लड़का व लड़की बेहोशी की हालत में पड़े हुए हैं। पुलिस के द्वारा दोनों को सफदरगंज अस्पताल में भारती कराया गया। घटना के कुछ दिन बाद इलाज के दौरान युवती की मौत हो गई। इस मामले में पुलिस ने बस चालक रामसिंह, परिचालक मुकेश कुमार व अक्षय कुमार उर्फ अक्षय ठाकुर, उनके साथियों पवन कुमार और विनय शर्मा को गिरफ्तार किया था। इस घटना में पुलिस के द्वारा एक नाबालिक को भी गिरफ्तार किया गया था।

निचली अदालत ने नाबालिग को बाल सुधार गृह भेजने का आदेश दिया था जबकि बाकी सभी दोषियों को फांसी की सजा सुनाई थी। तिहाड़ जेल में सजा काट रहे राम सिंह ने खुदकशी कर ली थी। बाकी दोषियों ने सजा के खिलाफ हाई कोर्ट में अर्ज़ी डी थी। जहां कोर्ट ने इनकी सजा को बरक़रार रखा। बाद में सुप्रीम कोर्ट में सजा को चुनौती दी गई थी। इस मामले में नाबालिक युवक को सजा पूरी होने के बाद छोड़ा जा चुका है।

इस सामूहिक दुष्कर्म मामले में सुप्रीम कोर्ट का आज फैसला आना है।पीड़िता की मां को उम्मीद है कि सुप्रीम कोर्ट दोषियों की फांसी की सजा बरकरार रखेगा। उन्होंने कहा कि उन्हें इस दिन का लंबे समय से इंतजार था। सुप्रीम कोर्ट द्वारा आज का फैसला निर्भया और उसके परिवार के लिए ही नहीं पूरे देश के लिये महत्वपूर्ण है। फैसला दोपहर 2 बजे तक आने की उम्मीद है।

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