मुंबई (भाषा)। शिवसेना ने केंद्र सरकार को चुनौती दी है कि वह पूर्व वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा के आर्थिक हालात के बारे में लिखे गए लेख को गलत साबित करके दिखाए, साथ ही तंज किया कि विचारों को व्यक्त करने के लिए भाजपा नेता को क्या सजा दी जाएगी। शिवसेना ने दावा किया कि भाजपा के कई नेता व्यवस्था के खिलाफ बोलने से डरते हैं, उन्हे डर है कि अगर उन्होंने ऐसा किया तो उन्हें अज्ञात खतरों का सामना करना पड़ेगा।
पार्टी ने अपने मुखपत्र सामना के संपादकीय में लिखा, कुछ लोग यह मान लेते हैं कि चुनाव जीतने और ईवीएम मशीनों से छेड़छाड़ करने से अथवा धन के इस्तेमाल मात्र से ही विकास हो जाएगा। लेकिन अर्थव्यवस्था की हालत अब बेहद खराब है।
संपादकीय में कहा गया, जब मनमोहन सिंह और पी चिदंबरम जैसे विशेषज्ञों ने अर्थव्यवस्था की हालत का खुलासा करना चाहा तो उन्हें खरिज कर दिया दिया। अब भाजपा के वरिष्ठ नेता जिनके पास लंबे समय तक वित्त मंत्रालय का प्रभार था, ने कुछ खुलासे किए हैं, उन्हें अब बेईमान अथवा राष्ट्र विरोधी करार दिया जा सकता है। केंद्र की राजग सरकार की सहयोगी पार्टी ने कहा, रुस में स्टॉलिन के शासन के वक्त जिसकी विचारधारा सरकार के विपरीत होती थी या जो सच बोलता था, रात के अंधेरे में गायब हो जाता था और फिर दोबारा नहीं दिखाई देता था। हमें देखना पड़ेगा कि यशवंत सिन्हा को क्या सजा मिलती है।
देश से जुड़ी सभी बड़ी खबरों के लिए यहां क्लिक करके इंस्टॉल करें गाँव कनेक्शन एप
संपादकीय में दावा किया, अगर यशवंत सिन्हा गलत हैं तो साबित करो कि उनके द्वारा लगाए गए आरोप गलत हैं। कई वरिष्ठ भाजपा नेताओं में अर्थव्यवस्था की बिगड़ती स्थिति को ले कर रोष है लेकिन अज्ञात खतरों के डर से वह कुछ कह नहीं पाते। मुखपत्र में कहा गया कि भाजपा पोषित सोशल मीडिया प्रचारक भी यशवंत सिन्हा को गलत साबित नहीं कर पाएंगे।
इसमें आरोप लगाए गए कि एक ओर जहां उद्देश्यों को पूरा नहीं कर पाने के लिए कई योजनाओं की आलोचन हो रही है वहीं सरकार उन्हें सफल दिखाने के लिए करोड़ों रुपए खर्च कर रही है।
गौरतलब है कि यशवंत सिन्हा ने आई नीड टू स्पीक अप नाऊ शीर्षक से एक लेख लिखा है जिसमें उन्होंने वित्त मंत्री अरुण जेटली पर अर्थव्यवस्था को डुबोने का आरोप लगाते हुए कड़ी आलोचना की है।