किसानों की हो सम्पूर्ण कर्जमाफी, स्वामीनाथन रिपोर्ट लागू हो : मायावती
Manish Mishra | Jan 15, 2019, 11:25 IST
लखनऊ। अपने जन्मदिन पर भाजपा और कांग्रेस पर साथ-साथ किसानों की समस्याओं को दूर करने के लिए जमकर हमला बोला। मायवती ने कहा कि सरकारें किसानों के साथ धोखा कर रही हैं।
खास बात यह रही कि हमेशा मनुवाद का विरोध और दलितों की हिमायती करने वाली मायावती ने मंगलवार को किसानों की समस्याओं, मुस्लिमों को आरक्षण और स्वामीनाथन रिपोर्ट को लागू करने की वकालत करती नजर आईं। मायावती ने अपने 63वें जन्मदिन पर मंगलवार को भाजपा और कांग्रेस पर ताबड़तोड़ हमले बोले। उन्होंने कांग्रेस पर कर्जमाफी के खिलाफ निशाना साधते हुए कहा कि गरीब किसानों के लिए कर्जमाफी की योजना बेकार है।
मायावती ने कहा, "हालिया विधानसभा चुनाव के नतीजों से भाजपा ही नहीं, कांग्रेस को भी सबक लेने की जरूरत है। लोकलुभावन और झूठे वादे करके किसी भी पार्टी की दाल ज्यादा दिन तक गलने वाली नहीं है। तीन राज्यों में बनी कांग्रेस की सरकार की कर्जमाफी की योजना पर भी अब उंगलियां उठ रही हैं। कांग्रेस सरकार ने किसानों को धोखा दिया है। उन्होंने सरकार बनने के बाद सर्फि दो लाख रुपये वाला कर्ज़ ही माफ किया है।''
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किसानों की समस्याओं को उठाते हुए मायावती ने कहा, "ज्यादातर किसान साहूकार से कर्ज़ लेते हैं इसलिए सरकार को इस प्रकार के कर्ज को माफ करने के लिए भी विचार करना चाहिए। किसानों की समस्या हल करने के लिए स्वामीनाथन रिपोर्ट की सिफारिशों को लागू करना चाहिए।''
वहीं, सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने मायावती के घर पहुंच के जन्मदिन की बधाई दी।
मायावती ने जन्मदिन के अवसर पर सपा-बसपा कार्यकर्ताओं को आपसी मतभेद भुलाकर लोकसभा चुनावों में गठबंधन के प्रत्याशियों को जिताने की अपील की। उन्होंने कहा, "सपा-बसपा प्रत्याशियों की जीत ही जन्मदिन का तोहफा होगी।" बसपा प्रमुख ने नया दांव चलते हुए मुसलमानों के लिए भी आर्थिक आधार पर आरक्षण की भी मांग की।
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मायावती ने कहा, ''12 जनवरी को हमारी पार्टी ने समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन करके लोकसभा चुनाव लड़ने का फैसला किया है। इससे भाजपा की नींद उड़ी हुई है। देश का सबसे बड़ा राज्य होने के लिहाज से उत्तर प्रदेश काफी मायने रखता है। उत्तर प्रदेश ही तय करता है कि केंद्र में किसकी सरकार बनेगी और अगला प्रधानमंत्री कौन होगा।''
खास बात यह रही कि हमेशा मनुवाद का विरोध और दलितों की हिमायती करने वाली मायावती ने मंगलवार को किसानों की समस्याओं, मुस्लिमों को आरक्षण और स्वामीनाथन रिपोर्ट को लागू करने की वकालत करती नजर आईं। मायावती ने अपने 63वें जन्मदिन पर मंगलवार को भाजपा और कांग्रेस पर ताबड़तोड़ हमले बोले। उन्होंने कांग्रेस पर कर्जमाफी के खिलाफ निशाना साधते हुए कहा कि गरीब किसानों के लिए कर्जमाफी की योजना बेकार है।
मायावती ने कहा, "हालिया विधानसभा चुनाव के नतीजों से भाजपा ही नहीं, कांग्रेस को भी सबक लेने की जरूरत है। लोकलुभावन और झूठे वादे करके किसी भी पार्टी की दाल ज्यादा दिन तक गलने वाली नहीं है। तीन राज्यों में बनी कांग्रेस की सरकार की कर्जमाफी की योजना पर भी अब उंगलियां उठ रही हैं। कांग्रेस सरकार ने किसानों को धोखा दिया है। उन्होंने सरकार बनने के बाद सर्फि दो लाख रुपये वाला कर्ज़ ही माफ किया है।''
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किसानों की समस्याओं को उठाते हुए मायावती ने कहा, "ज्यादातर किसान साहूकार से कर्ज़ लेते हैं इसलिए सरकार को इस प्रकार के कर्ज को माफ करने के लिए भी विचार करना चाहिए। किसानों की समस्या हल करने के लिए स्वामीनाथन रिपोर्ट की सिफारिशों को लागू करना चाहिए।''
वहीं, सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने मायावती के घर पहुंच के जन्मदिन की बधाई दी।
मायावती ने जन्मदिन के अवसर पर सपा-बसपा कार्यकर्ताओं को आपसी मतभेद भुलाकर लोकसभा चुनावों में गठबंधन के प्रत्याशियों को जिताने की अपील की। उन्होंने कहा, "सपा-बसपा प्रत्याशियों की जीत ही जन्मदिन का तोहफा होगी।" बसपा प्रमुख ने नया दांव चलते हुए मुसलमानों के लिए भी आर्थिक आधार पर आरक्षण की भी मांग की।
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मायावती ने कहा, ''12 जनवरी को हमारी पार्टी ने समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन करके लोकसभा चुनाव लड़ने का फैसला किया है। इससे भाजपा की नींद उड़ी हुई है। देश का सबसे बड़ा राज्य होने के लिहाज से उत्तर प्रदेश काफी मायने रखता है। उत्तर प्रदेश ही तय करता है कि केंद्र में किसकी सरकार बनेगी और अगला प्रधानमंत्री कौन होगा।''