यह आईपीएल का 12वां सीजन हैं। अभी गिनती के ही मैच हुए हैं और विवाद पनपने शुरू हो गए हैं।
आईपीएल का इतिहास इसकी गवाही देता है, चाहे वह पहला सीजन हो या 12वां; बड़े-बड़े विवादों और फिक्सिंग ने इस पर कालिक पोती है। दुनिया में यह क्रिकेट की सबसे बड़ी लीग मानी जाती है लेकिन विवाद इसको कलंकित करते आ रहे हैं।
आईपीएल 2019 में अभी तक सात मैच खेले गए हैं।
किंग्स इलेवन पंजाब बनाम राजस्थान रायल्स, मैच नंबर 4 —
किंग्स इलेवन पंजाब के कप्तान रविचंद्रन अश्विन ने जॉस बटलर को मांकेडि़ंग तरीके से रनआउट किया। राजस्थान रॉयल्स यह मुकाबला अपने होमग्राउंड सवाई मानसिंह स्टेडियम में खेल रही थी। बटलर के आउट होते ही जैसे मानो राजस्थान के विकटों की झड़ी लग गई हो। पंजाब ने इसे 14 रन से जीता।
बटलर को आउट कर अश्विन ने विवाद को जन्म दिया। यह आईपीएल में पहला मौका था जब कोई खिलाड़ी मांकेडिंग तकनीक से रनआउट हुआ। इस तरह आउट होने वाले बटलर पहले खिलाड़ी बने।
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क्या था मामला?
आईपीएल का चौथा मुकाबला राजस्थान और पंजाब के बीच खेला जा रहा था। पंजाब ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 185 रनों का लक्ष्य रखा। राजस्थान की शुरुआत अच्छी हुई। इंग्लैंड के धाकड़ बल्लेबाज जॉस बटलर 43 गेंद में 69 रन बनाकर खेल रहे थे। अश्विन ने उन्हें बिना चेतावनी दिए मांकेडिंग से आउट किया।
मैच में दूसरे छोर पर खड़ा बल्लेबाज अगर गेंदबाज के हाथ से गेंद छूटने से पहले क्रीज से बाहर निकल आए तो उसे रनआउट करने को मांकेडिंग कहते हैं। खेल के नियमों के अनुसार तीसरे अंपायर ने उन्हें आउट दिया लेकिन ऐसे विकेट खेल भावना के विपरीत माने जाते हैं। इसके बाद बटलर और अश्विन के बीच तीखी बहस भी हुई।
क्या कहा पंजाब के कप्तान अश्विन ने?
“मैंने गेंद छोड़ी भी नहीं थी और वह क्रीज से बाहर आ गया था। हमने कोई गलती नहीं की। लेकिन मेरा मानना है कि ये मैच का रुख बदलने वाले पल है और बल्लेबाज को एहतियात बरतना चाहिए। यह अनायास लिया गया फैसला था। सोच समझकर नहीं किया गया। यह नियम के दायरे में था। मुझे समझ में नहीं आता कि खेल भावना का मसला बीच में कहां से आया। यह नियमों में है। शायद हमें नियमों पर पुनर्विचार करना होगा।”
“यह क्रीज का मेरा हाफ है और मेरा हमेशा से यही मानना रहा है। हमें पता था कि छह ओवर के बाद पिच धीमी हो जायेगी। गेंदबाज बधाई के पात्र है जो वेरिएशन पर काम करते रहे। सैम कुरेन की शुरूआत अच्छी नहीं रही लेकिन उसने शानदार वापसी की। हमारे पास काफी विकल्प हैं लेकिन पांच ओवर अच्छे निकल जाएं तो इससे बेहतर क्या हो सकता है।”
राजस्थान रॉयल्स के कोच पैडी उपटन ने कहा-
“जॉस बटलर को मांकडिंग करके आर अश्विन ने दिखा दिया कि उनका स्तर क्या है। अश्विन ने यह हरकत करके बताया कि वह कैसे इंसान हैं। मैं आईपीएल के प्रशंसकों पर छोड़ता हूं कि क्या वे इस तरह की चीजें देखना चाहते हैं। हम क्रिकेट जगत पर आर अश्विन की इस हरकत का आंकलन छोड़ते हैं।”
कैसे पड़ा इसका नाम?
वीनू मांकड़ के नाम पर इसे मांकेडिंग कहा जाता है, क्योंकि उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ 1947 में सबसे पहले इसका इस्तेमाल किया था। इसमें गेंदबाज अगर गेंद डालने से पहले दूसरे छोर पर खड़े बल्लेबाज के क्रीज से बाहर होने पर गिल्लियां बिखेर देता है तो उसे रन आउट माना जाता है। यह खेल के नियमों के दायरे में है लेकिन इसे खेलभावना के विपरीत माना जाता है।
ट्विटर इस पर किसने क्या कहा —
1. शेन वॉर्न, पूर्व क्रिकेटर, ऑस्ट्रेलिया
“अगर बेन स्टोक्स भी वही करता जो अश्विन ने किया, वो भी विराट कोहली के साथ तो क्या यह ठीक होता?”
Sorry – one more thing to add. If Ben Stokes did what Ashwin did to @imVkohli it would be ok ? I’m just very disappointed in Ashwin as I thought he had integrity & class. Kings lost a lot of supporters tonight. Especially young boys and girls ! I do hope the BCCI does something
— Shane Warne (@ShaneWarne) March 25, 2019
2. बेन स्टोक्स, क्रिकेटर, इंग्लैंड
“उम्मीद है कि मैं विश्व कप फाइनल में खेल रहा हूं, जब मैं गेंदबाजी कर रहा हूं और विराट कोहली बल्लेबाजी कर रहे हैं तो मैं कभी भी ऐसा नहीं करूंगा। मैं इस चीज को स्पष्ट कर रहा हूं।”
Hopefully I’m playing in the World Cup final and if @imVkohli is batting when I’m bowling I would never ever ever ever ever ever…..just clarifying to the mentions I’ve received #hallabol
— Ben Stokes (@benstokes38) March 26, 2019
3. मिशेल जॉनसन, पूर्व गेंदबाज, ऑस्ट्रेलिया
“मांकेडि़ंग कोई धोखेबाजी नहीं है और ना ही खेलभावना के विपरीत है। मैं अगर ऐसा करूंगा तो बल्लेबाज को चेतावनी दूंगा लेकिन बल्लेबाज को भी क्रीज के भीतर रहना चाहिए। यह टेनिस में अंडरआर्म सर्विस की तरह है।”
My thoughts on the Mankad. Its not cheating, it’s not against the spirit as it’s in the rules you can do it. Personally I would warn someone if I was to do it but the batsman should also play fair by staying behind the crease. It’s a bit like the underarm serve in tennis right??
— Mitchell Johnson (@MitchJohnson398) March 25, 2019
4. डीन जोंस, पूर्व बल्लेबाज, ऑस्ट्रेलिया
“अश्विन को दोष मत दीजिए। यह नियमों के दायरे में है। यदि ऐसा है तो खेलभावना के विपरीत कैसे है। नियम बनाने वाले इसके लिए दोषी हैं।”
5. इयान मोर्गन, कप्तान, इंग्लैंड वनडे क्रिकेट टीम
“जो मैंने देखा, उस पर भरोसा नहीं हो रहा। युवा खिलाड़ियों के लिए ये गलत मिसाल कायम की गई है। अश्विन को इस पर जरूर खेद होगा।”
So disappointed in @ashwinravi99 as a Captain & as a person. All captains sign the #IPL wall & agree to play in the spirit of the game. RA had no intention of delivering the ball – so it should have been called a dead ball. Over to u BCCI – this a not a good look for the #IPL
— Shane Warne (@ShaneWarne) March 25, 2019
6. जेसन राय, बल्लेबाज, इंग्लैंड
“अश्विन, यह स्तब्ध करने वाला बर्ताव था। बहुत निराशाजनक।”
Ashwin, that’s shocking behaviour! Very disappointed to see that.
— Jason Roy (@JasonRoy20) March 25, 2019
- 7. माइकल वॉन, पूर्व कप्तान, इंग्लैंड
“जॉस बटलर को पहले चेताया गया होता तो इसमें कोई बुराई नहीं थी। उसने ऐसा नहीं किया तो वह सरासर गलत है। देखते हैं कि अब आईपीएल में ऐसा कितनी बार होता है।”
8.स्कॉट स्टायरिस, पूर्व क्रिकेटर, न्यूजीलैंड
“यह बटलर या अश्विन किसी की गलती नहीं है। टीवी अंपायर ने गलती की क्योंकि यह डैड बाल होनी चाहिए थी।”
My opinion on the Buttler/Ashwin controversy is that its NOT Buttlers fault and its NOT Ashwins fault either
Ashwin is entitled to appeal
I thought the TV umpire made the incorrect decision
Shouldve been dead ball….. play on
— Scott Styris (@scottbstyris) March 25, 2019
आरसीबी बनाम मुम्बई इंडियंस — मैच नंबर-7
बंगलुरु के एम चिन्नास्वामी स्टेडियम में खेले गए मैच में मुंबई इंडियंस ने रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर को छह रनों से हरा दिया। यह जीत ज़रूर मुम्बई इंडियंस की है लेकिन आखरी बॉल पर जो हुआ उसका हर्जाना आरसीबी को जरूर भुगतना पड़ा। रायल चैलेंजर्स बैंगलोर को आखिरी गेंद पर 7 रनों की जरूरत थी। लसिथ मलिंगा की गेंद पर शिवम दुबे ने लॉन्ग ऑन शॉट खेला।
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हार की निराशा के कारण क्रीज पर मौजूद दोनों बल्लेबाज रन के लिए नहीं दौड़े, लेकिन रीप्ले में साफ दिखा कि मलिंगा का पैर क्रीज से बाहर था और यह नो बॉल थी लेकिन अंपायर एस. रवि ने इस पर ध्यान नहीं दिया। अगर अंपायर ने इसे नो बॉल करार दिया होता तो बैंगलोर की टीम को फ्री हीट मिलता और स्ट्राइक पर अनुभवी बल्लेबाज़ एबी डिविलियर्स होते जो शानदार लय में थे और 70 रन पर बल्लेबाजी कर रहे थे। ऐसा होने पर रायल चैलेंजर्स बैंगलोर इस मैच को जीत सकता था। खास बात यह है कि रवि कई वर्षों से आईसीसी के एलीट पैनल में एकमात्र भारतीय अंपायर हैं।
अंपायरों को आंखें खुली रखनी चाहिए
“हम आईपीएल के स्तर पर खेल रहे हैं, यह कोई क्लब क्रिकेट नहीं है। अंपायरों की आंखें खुली होनी चाहिए, यह बड़ी नो-बॉल थी। आखिरी गेंद पर यह निराशाजनक फैसला था। अगर इस तरह के फैसले आते हैं तो मुझे नहीं पता कि क्या हो रहा है। अंपायर को वहां अधिक चौकन्ना और सजग रहना चाहिए था,” – विराट कोहली, कप्तान आरसीबी
“इमानदारी से कहूं तो मुझे मैदान से बाहर जाने के बाद पता चला कि वो एक नो बाल थी। ऐसी गलतियां खेल के लिए अच्छी नहीं हैं। जीतना और हारना मायने नहीं रखता। यह (गलती) क्रिकेट के खेल के लिए अच्छी नहीं है। इससे पहले वाले ओवर (19वें ओवर) में जब जसप्रीत बुमराह गेंदबाजी कर रहे थे तब एक गेंद को वाइड दिया गया था जो कि वाइड नहीं थी,” – रोहित शर्मा, कप्तान मुम्बई इंडियंस