हरियाणा में खेतों की नपाई ड्रोन से

India

हिसार (हरियाणा)। दैवीय आपदा से खराब हुई फसलों का मुआवजा देने के लिए खेत की पैमाइश में लेखपाल न तो गड़बड़ी कर पाएंगे न ही इसकी रिपोर्ट में देरी होगी। हरियाणा सरकार पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर फसल का आंकलन अब ड्रोन से कराने जा रही है।   

हरियाणा सरकार ने अब ड्रोन के जरिए मौसम की मार के बाद खराब हुई फसलों की का आंकलन कराने का फैसला किया है। जिसके पायलट प्रोजेक्ट पर काम भी शुरू हो गया है। किसानों को उम्मीद है कि अगर आंकलन छोटे हवाई जहाज (ड्रोन) से होगा तो पटवारियों की मनमानी रुक जाएगी और उन्हें खराब फसलों का सही मुआवजा मिल सकेगा।

हिसार एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी के अधीन काम करने वाले हरियाणा स्पेस  एप्लीकेशन सेंटर (HARSAC) की टीमें इन दिनों गाँवों में घूम-घूमकर ड्रोन और सेटेलाइट इमेज के जरिए खराब फसलों के आंकलन में जुटी हैं।

टीम की कमान संभालने वाले हरियाणा के स्पेस अप्लीकेशन सेंटर के वैज्ञानिक डॉ. सुल्तान सिंह बताते हैं, “हम इस वक्त एक ऐसे प्रोजेक्ट पर काम कर रहे हैं, जिसमें ड्रोन और उपग्रह से ली गई तस्वीरों के जरिए किसानों की फसल और उसके नुकसान का सटीक आंकलन किया जा सके। अत्याधुनिक मॉडलिंग गतिविधि और भूस्थैतिक प्रौद्योगिकी के जरिए खेती और खेतों का वास्तविक अनुमान का पता लगाया जा सकेगा।”

हरियाणा स्पेस एप्लीकेशन सेंटर अब तक 138 प्रोजेक्ट पर सफलतापूर्वक काम कर चुका है, जबकि 21 प्रोजेक्ट अभी चल रहे हैं।

रिपोर्टर – अमित शुक्ला

Recent Posts



More Posts

popular Posts