लखनऊ। उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री और बहुजन समाज पार्टी की मुखिया मायावती ने अंबेडकर जयंती के मौके पर कहा कि अगर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नीयत साफ है तो उन्हें अदालत के फैसले का इंतजार करने के बजाए एससी-एसटी अधिनियम को प्रभावी बनाने के लिए कैबिनेट की बैठक बुलाकर अध्यादेश जारी करना चाहिए।
बाबा साहेब अंबेडकर की जयंती के मौके पर मायावती ने एक बयान जारी कर कहा कि बाबा साहेब के नाम से योजनाएं शुरू करने और उनसे जुड़े स्मारकों के उद्धघाटन से दलितों का विकास नहीं होने वाला है।
I want to tell Modi Ji and his govt that commemorating places related to Baba Saheb's life and inaugurating schemes in his name, will in no way lead to development of Dalits: BSP's Mayawati #AmbedkarJayanti pic.twitter.com/xfp4Mt8qPl
— ANI UP (@ANINewsUP) April 14, 2018
भाजपा पर निशाना साधते हुए मायावती ने कहा, “आज देशभर में दलितों का उत्पीड़न किया जा रहा है। दो अप्रैल को भारत बंद के दौरान एससी-एसटी अधिनियम के खिलाफ प्रदर्शन करने वालों पर बड़े पैमाने पर कार्रवाई की गई। भाजपा को बाबा साहेब के अनुयायियों के उत्थान की दिशा में ईमानदारी से काम करना चाहिए, तभी वह दलितों के दिल में कुछ जगह बना सकती है।”
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा, “मैं मोदीजी से कहना चाहती हूं कि अगर आपकी नीयत साफ है तो आपको अदालत के फैसले का इंतजार करने के बजाए एससी-एसटी अधिनियम को प्रभावी बनाने के लिए कैबिनेट की बैठक बुलाकर अध्यादेश जारी करना चाहिए। सरकार ने इस अधिनियम को प्रभावी बनाने के लिए अगर सर्वोच्च न्यायालय के आदेश के बाद अध्यादेश जारी कर दिया होता तो दलितों को भारत बंद नहीं करना पड़ता।”
(एजेंसी)