गाँवों से गायब हैं सफाइकर्मी, मच्छरों के डंक ग्रामीणों को दे रहे बीमारी

Mo. AmilMo. Amil   29 Aug 2017 4:52 PM GMT

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गाँवों से गायब हैं सफाइकर्मी, मच्छरों के डंक ग्रामीणों को दे रहे बीमारीनाले का पानी फैला रहता है सड़कों पर ।

राजेश पाठक/दीपक तोमर-स्वयं कम्युनिटी जर्नलिस्ट

कासगंज/सोरों। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मिशन स्वच्छता अभियान को ग्रामीण क्षेत्र में बुरा हाल है। गाँवों में नियुक्त सफाईकर्मी नदारद रहते हैं। अधिकतर सफाईकर्मी अधिकारियों व प्रधानों की सेवा कर अपनी ड्यूटी पूरी कर रहे हैं।

गन्दगी के कारण मच्छरों का प्रकोप बढ़ गया है, मच्छरों के डंक से लोग बीमार होने लगे हैं, गाँव कनेक्शन की टीम ने जब सोरों और सहावर ब्लॉक के लगभग एक दर्जन गाँवों का दौरा किया तो गाँवों में गन्दगी के अम्बार तो वहीं ग्रामीण मच्छरों के प्रकोप से डरे नजर आए।

ये भी पढ़े-सफाईकर्मी के न आने से गाँव में गंदगी का अंबार

ग्रामीण क्षेत्रों की सफाई व्यवस्था पूरी तरह से ध्वस्त है। गाँवों में नियुक्त सफाईकर्मी मनमानी पर उतारू हैं, जब मन करता है झाड़ू लगा देते हैं, मन नही करता तो महीनों तक गाँवों की ओर रूख नही करते, गाँव कनेक्शन की टीम ने सोरों ब्लॉक की ग्राम पंचायत दतलाना, कादरवाडी, श्यामसर, मल्लाहनगर, हिमायुंपुर, चन्द्रपुरा गउपुरा तो वहीं सहावर ब्लॉक की ग्राम पंचायत मीरापुर व कुंवरपुर के हालात जांचे तो पाया कि यहां नियुक्त सफाईकर्मी गांवों में सफाई न करने अपने अधिकारियों और प्रधानों की जी हुजूरी में लगे रहते हैं। ग्राम पंचायत मीरापुर में तो पिछले दो वर्षों से सफाईकर्मी नही आया है।

ग्राम रामनगर में तो 65 वर्षीय पूर्व प्रधान मुरारीलाल अपने घर के सामने खुद सफाई करते नजर आए उन्होंने बताया, ‘‘गांव में सफाईकर्मी आता नही है, गाँव में गंदगी फैली रहती है, गाँव के लोग खुद ही अपने घरों के सामने सफाई करते हैं।"

गाँव कादरवाड़ी निवासी 60 वर्षीय सुल्तानसिंह कहते हैं, ‘‘महीने दो महीने में एक बार गाँव सफाईकर्मी आता है, गाँव की महिलाएं खुद सफाई करतीं हैं।"

गाँव श्यामपुर माफी निवासी वीरेन्द्र कुमार(36वर्ष ) कहते हे कि ‘‘हमारे गांव में कभी कभी सफाईकर्मी आता है तभी गांव में सफाई हो पाती है, गांव में गंदगी के ढेर लगे हुए हैं।‘‘ गांव हिमायूंपुर निवासी शिवकुमार वशिष्ठ(45वर्ष ) कहते हैं कि ‘‘हमारी सड़क पर तो आज तक झाड़ू नही लगी, सफाईकर्मी गांव मंे आता नही हैै‘‘ गांव के शिशुपाल सिंह(28वर्ष ) ने बताया कि ‘‘हमारे यहां सफाईकर्मी कभी कार्य करने नही आता, जब गांव में कोई शादी होती है तब बडी मिन्नतांे के बाद सफाईकर्मी आता है।‘‘

गांव मीरापुर निवासी 60 वर्षीय अनार सिंह यादव ने बताया, ‘‘गांव में पिछले दो वर्षों से सफाईकर्मी नही आया, गांव मेें फैली गंदगी से बीमारियां फैल सकती हैं।‘‘

इनके अलावा मल्लानगर निवासी डा गेंदालाल, बहादुर नगर निवासी डा चुन्नु अंसारी, ओमप्रकाश, नगला बिहारी निवासी छोटेलाल, नगला बौहरे निवासी लक्ष्मी नारायण, दतलाना निवासी यादराम, कंडेलगंज निवासी धर्मेन्द्र सिंह ने भी सफाईकर्मी को लेकर अपनी बात कही।

गन्दगी से फैला मच्छरों का आतंक....

गांवों में गन्दगी, कूड़े के ढेरों व बरसात के कारण हुए जलभराव से मच्छरों ने दस्तक दे दी है, क्षेत्र के किसी भी गाँव में न तो फॉगिंग की गयी है और न ही मच्छर मारने की दवा का छिड़काव किया गया है, मानपुर नगरिया निवासी देवेन्द्र (40वर्ष) ने बताया कि "मच्छरों से बचने के लिए मच्छर दानियों का प्रयोग करना पड़ता है नहीं तो दिनभर मच्छर डंक मारते रहते हैं आये दिन परिवार में बुखार को झेल रहे हैं।"

नगला रामचन्द्र निवासी मुन्नालाल (35वर्ष) ने बताया कि "गांव में दिनभर मच्छर पनपते रहते हैं ऐसे ही हम सब लोग मच्छरों के जंजाल में फंसकर बीमार पड़ जाते हैं, गाँव में ज्यादातर गन्दगी फैली हुयी है।" गांव फरीदपुर निवासी राकेश कुमार (45 वर्ष) ने बताया कि "गांव में गन्दगी को लेकर सरकार स्वच्छ अभियान चला रही है, क्षेत्रों में गन्दगी के बड़े-बड़े ढेर बने हुए हैं इसको लेकर आये दिन हम बहुत परेशान होते रहते हैं।"

गांव मिर्जापुर निवासी कुंवरपाल (45वर्ष) का कहना है कि "दस साल पहले क्षेत्र में मच्छर के प्रकोप को देखते हुए दवा डाली जाती थी, मगर अब दवा नहीं डाली जाती है, किसान दिनभर खेतों में काम करता है घरों मे मच्छरों का प्रकोप फैल रहा है।"

मच्छरों के डंक से झोलाछाप डॉक्टरों की मौज...

गांवों में फैली गन्दगी और मच्छरों के प्रकोप से ग्रामीण बीमारियो का शिकार हो रहे हैं, गाँव में इनदिनों टायफाइड, मलेरिया, बुखार, जुकाम, सर्दी जैसी बीमारियो से ग्रस्त हो रहे हैं, ग्रामीणों के बीमार होने से झोलाछाप डॉक्टरों की मौज आ गयी है, सैकड़ो झोलाछाप डॉक्टरों की दुकानों पर मरीजों की भीड़ देखी जा सकती है, मूलचन्द्र हाॅस्पीटल के डाक्टर मनोज कुमार ने बताया कि "इनदिनों बीमारियो का खतरा बड़ जता है, मरीजों की संख्या में इजाफा हुआ है।"

ग्राम प्रधानों ने किया बचाव.....

"मेरी पंचायत में पांच गांव है और केवल एक सफाईकर्मी नियुक्त हे, इस वजह सभी गांवों में सफाईकार्य नही हो पाता।"

--ख्यालीराम उर्फ केडी सिंह, प्रधान, ग्राम पंचायत कादरवाड़ी

"मेरी पंचायत में सफाई कर्मचारी नियुक्त है और बेहतर काम करता है।"

---हरिदास, प्रधान, ग्राम पंचायत हिमायूंपुर

मानपुर नगरिया के प्रधानपति सूरजपाल का कहना है, “ खातो मे चैक नही किया गया अगर पैसा आ गया होगा तो जरूर दवा छिरकी जायेगी बैसे मच्छरों का प्रकोप भी बढता जा रहा जल्द दवा छिरकी जायेगी।”

    

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