जम्‍मू कश्‍मीर: बीडीसी चुनावों में भाजपा को झटका, 307 पदों में 81 पर मिली जीत

धारा-370 हटाने के बाद पहली बार हुए पंचायतों के चुनाव

  • Whatsapp
  • Telegram
  • Linkedin
  • koo
  • Whatsapp
  • Telegram
  • Linkedin
  • koo
  • Whatsapp
  • Telegram
  • Linkedin
  • koo
जम्‍मू कश्‍मीर: बीडीसी चुनावों में भाजपा को झटका, 307 पदों में 81 पर मिली जीत

जम्‍मू कश्‍मीर से अनुच्छेद 370 और 35ए हटाए जाने के बाद पहली बार राज्य में ब्लॉक डेवलपमेंट काउंसिल (बीडीसी) के चुनाव हुए। इस चुनाव में निर्दलियों का दबदबा रहा। 307 पदों के लिए हुए चुनाव में से 217 पर निर्दल जीते। वहीं, इस चुनाव में भाजपा को 81 सीटें मिलीं।

बता दें, इस चुनाव में भाजपा इकलौती बड़ी पार्टी थी, क्‍योंकि नेशनल कांफ्रेंस, पीडीपी और कांग्रेस ने आर्टिकल 370 के प्रावधान हटाने के कारण इस चुनाव का बहिष्‍कार किया था। आर्टिकल 370 हटने के बाद यह पहला चुनाव था, ऐसे में कड़ी सुरक्षा के बीच इस चुनाव को संपन्‍न कराया गया।

कश्‍मीर क्षेत्र की 137 ब्‍लॉक सीटों में से 18 पर भाजपा को जीत मिली है। वहीं, जम्‍मू क्षेत्र में भाजना को 148 सटों में से 52 सीटों पर जीत मिली है।

जम्मू, कश्मीर और लद्दाख में कुल मिलाकर 98.3 फीसदी मतदान हुआ है। वहीं, श्रीनगर में सौ फीसदी मतदान हुआ। मुख्य चुनाव अधिकारी शैलेंद्र कुमार के मुताबिक, अनंतनाग में 90.5, बांदीपोरा में 97.6, बारामुला में 97.1, बडगाम में 94.9, डोडा में 99.2, गांदरबल में 95.1, जम्मू में 99.5, कारगिल में 98.3, कठुआ में 99.4, किश्तवाड़ में 99.5, कुलगाम में 93.9, कुपवाड़ा में 95.9, लेह में 97.3 और पुंछ में 99.3 फीसदी मतदान हुआ।

शैलेंद्र कुमार ने बताया, कुल 326 ब्‍लॉक में से 307 पर चुनाव हआ है। इनमें से 27 सीटों पर उम्‍मीदवार निर्विरोध चुन लिए गए। वहीं, 280 सीटों पर चुनाव हुए। कुल सीटों में से 217 सटों पर निर्दलीय उम्‍मीदवार चुनाव जीते हैं। शैलेंद्र कुमार ने बताया कि 26 हजार पंचों और सरपंचों ने चुनाव के दौरान वोट डाले और वोटिंग प्रतिशत 98 प्रतिशत से ज्‍यादा रहा है।

इस चुनाव पर पीएम मोदी ने कहा, 'मुझे यह बताते हुए खुशी हो रही है कि जम्मू, कश्मीर, लेह और लद्दाख में बीडीसी के चुनाव बहुत ही शांतिपूर्ण तरीके से संपन्न हुए हैं। इस दौरान कोई हिंसा नहीं हुई। यह लोकतंत्र में लोगों के अटूट विश्वास और महत्व को दर्शाता है कि वे जमीनी स्तर के शासन के अनुरूप हैं।'

    

Next Story

More Stories


© 2019 All rights reserved.