सरकार 15 अक्तूबर को महिला कृषक दिवस के रूप में मनाएगी
Sanjay Srivastava 10 March 2017 12:55 PM GMT
नई दिल्ली (भाषा)। सरकार ने महिलाओं के योगदान की शिनाख्त करने के मकसद से 15 अक्तूबर को महिला कृषक दिवस के रूप में मनाने का फैसला किया है।
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कृषि मंत्री राधा मोहन सिंह ने बताया कि, केंद्र सरकार ने राज्यों को निर्देश दिया है कि वे कृषि योजनाओं के लिए आवंटित किए गए धन के 30 प्रतिशत हिस्से को महिलाओं पर खर्च करें, जिनकी देश के कृषि कामगारों में पर्याप्त हिस्सा है, हालांकि उन्होंने भारत में महिला सहकारी संस्थाओं की नगण्य संख्या को लेकर चिंता व्यक्त की और वित्तीय मदद देकर इसे मजबूती देने की आवश्यकता पर जोर दिया।
सरकार ने महिलाओं के योगदान की शिनाख्त करने के मकसद से 15 अक्तूबर को महिला कृषक दिवस के रूप में मनाने का फैसला किया है।
एनसीडीसी द्वारा आयोजित महिला सहकारिता के सुदृढ़ीकरण पर राष्ट्रीय कार्यशाला में सिंह ने कहा, देश की आबादी का करीब 60 फीसदी हिस्सा कृषि पर निर्भर है, जिसमें से महिलाएं करीब 30 प्रतिशत हैं, हमने राज्यों से कहा है कि हमारी सारी योजनाओं और कार्यक्रमों में महिलाओं को साझेदार बनाएं।
सिंह ने इस बात पर भी जोर दिया कि देश में और अधिक संख्या में महिला सहकारी संस्थाओं को स्थापित किए जाने की आवश्यकता है क्योंकि मौजूदा समय में कुल आठ लाख में से केवल 20,014 संस्थाएं ही भारत में हैं।
एनसीडीसी के प्रबंध निदेशक वसुधा मिश्रा ने कहा कि महिला सहकारी संस्थाओं को अपने उत्पादों का विपणन करने में मुश्किल पेश आती है इसलिए कार्पोरेशन ने उन्हें बाजार संपर्क और प्रशिक्षण देने का फैसला किया है ताकि वे बेहतर डिजाइन के साथ उत्पादों का विनिर्माण कर सकें। उन्होंने कहा कि महिला सहकारी संस्थाओं को धन का बेहतर प्रबंधन करने और पेशेवराना ढंग से सहकारी संस्था को चलाने के लिए भी प्रशिक्षित किया जाएगा।
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