सर्दियों में बढ़ जाती है टॉन्सिल्स की दिक्कत, जानें लक्षण और इलाज
गाँव कनेक्शन | Jan 08, 2017, 20:46 IST
स्वयं डेस्क
लखनऊ। अक्सर सर्दियों में ठंडा पीने से लोगों को गले में दर्द की शिकायत होने लगती है। उसके बाद खाना-पीना मुश्किल हो जाता है। ऐसा टॉन्सिलाइटिस की वजह से होता है।
टॉन्सिलाइटिस होने पर टॉन्सिल्स में यानी गले के दोनों ओर सूजन आ जाती है। शुरुआत में मुंह के अंदर गले के दोनों ओर दर्द महसूस होता है, बार-बार बुखार भी होता है। टॉन्सिल्स सामान्य से ज्यादा लाल हो जाते हैं। इस बीमारी के बारे में लखनऊ के ईएनटी विशेषज्ञ डॉ. पंकज श्रीवास्तव-
टॉन्सिल दो तरह के इन्फेक्शन के कारण होता है। वायरल इंफेक्शन के कारण हुए टॉन्सिल्स में खास इलाज की जरूरत नहीं होती। बैक्टीरियल इन्फेक्शन से हुए टॉन्सिल को दवाई के सेवन से ठीक किया जा सकता है। आम तौर पर ये एक हफ्ते में ठीक हो जाता है। लेकिन इंफेक्शन ज्यादा हो तो इसे ठीक होने में अधिक समय लगता है।
टॉन्सिलाइटिस होने पर गले में दर्द, खाना निगलने में तकलीफ, टॉन्सिल्स का सूज जाना और दर्द होना, बुखार आना, सिर में दर्द होना, जीभ पर सफेद परत जम जाती है।
टॉसिलाइटिस के रोगियों को तब तक दवाईयां लेनी चाहिए जब तक पूरा कोर्स न ख़त्म हो जाए। कई लोगों के साथ ऐसा होता है कि दवा लेने पर टॉन्सिलाइटिस कुछ दिनों के लिए दब तो जाता है पर वो दोबारा उभर जाता है। उनके साथ ऐसा बार-बार होता है। ऐसे में टॉन्सिलाइटिस का ऑपरेशन कराना पड़ता है।
अगर बुखार न हो तो मरीज को बुखार की कोई दवा नहीं दी जाती। गले में दर्द के लिए सिर्फ गरारे के लिए कहा जाता है। अगर टॉन्सिलाइटिस वायरल इन्फेक्शन की वजह से होता है तो बुखार के लिए पैरासिटामॉल (क्रॉसिन, कालपोल आदि) की गोली दी जाती है। गले में दर्द के लिए गुनगुने पानी में नमक डालकर मरीज को उसके गरारे करने को कहा जाता है। अगर टॉन्सिलाइटिस बैक्टीरियल इन्फेक्शन से हुआ है तो पैरासिटामॉल और गरारों के साथ एंटी-बायोटिक दवाएं भी दी जाती हैं। इससे एक हफ्ते में मरीज को आराम हो जाता है और दो हफ्ते में वह पूरी तरह ठीक हो जाता है।
लखनऊ। अक्सर सर्दियों में ठंडा पीने से लोगों को गले में दर्द की शिकायत होने लगती है। उसके बाद खाना-पीना मुश्किल हो जाता है। ऐसा टॉन्सिलाइटिस की वजह से होता है।
टॉन्सिलाइटिस होने पर टॉन्सिल्स में यानी गले के दोनों ओर सूजन आ जाती है। शुरुआत में मुंह के अंदर गले के दोनों ओर दर्द महसूस होता है, बार-बार बुखार भी होता है। टॉन्सिल्स सामान्य से ज्यादा लाल हो जाते हैं। इस बीमारी के बारे में लखनऊ के ईएनटी विशेषज्ञ डॉ. पंकज श्रीवास्तव-
कैसे होता है टॉन्सिल्स
लक्षण
कैसे बचें गले के संक्रमण से
- हमेशा साबुन से हाथ धोकर ही खाना खाएं।
- सर्द मौसम में ठंडे पेय पदार्थ से परहेज करें।
- गर्म खाने के बाद ठंडे खाद्य पदार्थ का सेवन न करें।
- बासी भोजन का सेवन न करें। अगर खाद्य पदार्थ ठंडा हो गया है तो उसे गर्म कर लें।
- ब्रश करने के बाद नियमित रूप से गुनगुने पानी से गरारा करें।
- तले खाने से परहेज करें।
- गाजर के रस का छोटा गिलास दो तीन महीने तक पीयें।
- टॉन्सिल्स की सूजन में केवल गरम पानी में नमक डालकर गरारे करने से आराम आ जाता है।
सुझाव
इलाज
घरेलू इलाज
- 5 पत्ते तुलसी, 5 पत्ते काली मिर्च, 2 ग्राम या चने के बराबर अदरक को 1 कप पानी में उबालें। फिर छानकर पानी को पी लें। अगर चाहें तो इसमें आधा चम्मच चीनी और आधा चम्मच चाय पत्ती डालकर भी उबाल सकते हैं।
- आधा चम्मच हल्दी पाउडर को एक गिलास गर्म दूध में मिलाकर पिएं। हल्दी हमारे शरीर को इन्फेक्शन से बचाती है। हल्दी को गर्म नहीं करना है।
- एक-चौथाई मुलेठी चूर्ण को आधा चम्मच शहद में मिलाकर खाएं।