किसानों की बल्ले-बल्ले, लहसुन की कीमतें आसमान पर, थोक में 22000 रुपये प्रति कुंतल का रेट

प्याज और टमाटर के बाद लहसुन की कीमतें काफी बढ़ गई हैं। लहसुन इन दिनों फुटकर में 300 रुपए किलो तक बिक रहा है। जबकि मंडियों में भी 20 हजार से लेकर 22 हजार रुपए का रेट है, जबकि पिछले साल सही लहसुन 500-1000 रुपए में बिका था।

Arvind ShuklaArvind Shukla   16 Oct 2019 10:49 AM GMT

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अरविंद शुक्ला/वीरेंद्र सिंह/पुष्पेंद्र वैद्य

लखनऊ/बाराबंकी/नीमच। प्याज और टमाटर के बाद लहसुन का भाव आसमान पर पहुंच गया है। खाने का स्वाद बढ़ाने वाला लहसुन फुटकर में 250 से 300 रुपए किलो तो मंडी में 22000 रुपए कुंतल तक बिका है। किसानों के मुताबिक ये रेट पिछले कई वर्षों में अपने आप में एक रिकार्ड है। मध्य प्रदेश की नीमच मंडी में इन दिनों रोजाना 10 हजार से 12 हजार बोरी लहसुन बेचा जा रहा है।

मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र और बिहार समेत कई राज्यों में लहसुन की खेती होती है। लहसुन की सबसे बड़ी मंडी मध्य प्रदेश के नीमच जिले में है। इसके अलावा मध्य प्रदेश के ही मंदसौर जिले की पिपलिया मंडी में भी लहसुन का बड़ा कारोबार होता है। यूपी की सब्जी बेल्ट बाराबंकी में भी बड़े पैमाने पर लहसुन की खेती होती है। बाराबंकी की रामनगर मंडी में पिछले दिनों इन दिनों लहसुन 22000 रुपए प्रति कुंतल की रिकार्ड कीमत पर पहुंच गया है। जबकि नीमच मंडी में थोक लहसुन की कीमतें 12000 से 18000 रुपए प्रति कुंतल है। यहां पिछले एक महीने से औसत भाव 15000 के आसपास बना हुआ है। जबकि लखनऊ-दिल्ली जैसे शहरों में फुटकर में कीमतें 250 से 300 रुपए किलो तक हैं।

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अच्छे रेट के बाद बाराबंकी में जल्द से जल्द बेचने की तैयारी में किसान। फोटो- वीरेंद्र सिंह

बाराबंकी में बेलहरा में रहने वाले किसान रामदुलारे मौर्य काफी खुश हैं। पिछले 10-15 वर्षों से लगातार लहसुन की खेती करते आ रहे राम दुलारे मौर्य कहते हैं, कई वर्षों से किसान लगातार घाटा उठा रहे थे, इस बार रेट अच्छा मिला है। 20000 तक हमने लहसुन बेचा है। यही भाव रहा तो अच्छा मुनाफा होगा।"

राम दुलारे के पास इस बार 2 एकड़ लहसुन था, जिसे वो थोड़ा थोड़ा करके बेच रहे थे, लेकिन पिछले साल उन्हें काफी घाटा हुआ था और एक एकड़ में 10 हजार रुपए का भी लहसुन नहीं निकल पाया था। वो कहते हैं, एक एकड़ लहसुन में 50 हजार रुपए की लागत आती है। पिछले साल 500-1200 में लहसुन बिका था, एक एकड़ से मुझे तक 10 हजार रुपए भी नहीं मिले थे।" 55 साल के सुमिरन के मुताबिक उनके जीवन में ये रेट पहली बार आया है। इससे पहले 2016 में लहसुन 12000-13000 रुपए प्रति कुंतल बिका था। लेकिन इस बार लहसुन सारे रिकार्ड तोड़ते हुए 18000-20000 रुपए तक पहुंच गया है।

नीमच मंडी में रोजाना 10000-12000 बोरी की बिक्री

यूपी के बाराबंकी से करीब 900 किलोमीटर दूर मध्य प्रदेश के नीमच जिले में किसान खुश हैं। नीमच (एपीएमसी) में मंडी में करोबारी और खुद किसान जितेंद्र राठौर गांव कनेक्शन को फोन पर बताते हैं, पिछले एक महीने से लहसुन का भाव ऊपर है। यहां 15000 रुपए प्रति कुंतल का औसत भाव है, जबकि कई किसानों का 18000 में भी बिका है। आगे दिवाली है और इन दिनों बुवाई का भी सीजन चल रहा है इसलिए आगे भी रेट अच्छे हो सकते हैं।

जितेंद्र का गांव नीमच से 50 किलोमीटर दूर कुडेश्वर में है। वो बताते हैं पिछले बार उन्होंने अपना 200 बोरी लहसुन 250 रुपए कुंतल बेचा था, जबकि काफी लहसुन फेंकना पड़ा था क्योंकि बोरी आदि का भी खर्च नहीं निकल पा रहा था। इस बार हम लोगों ने एक महीने पहले करीब 8000 रुपए कुंतल में अपना काफी लहसुन बेचा था और अभी 50 कुंतल रखा है जो दिवाली तक रोजाना 10-10 कुंतल करके बेंचेगे।

अच्छे भाव के लिए जितेंद्र तीन वजह बताते हैं, पिछले साल लहसुन बहुत सस्ता था, उससे पिछले साल भी रेट काफी कम थे तो किसान ने कम बोया, दूसरा अभी बाहर (विदेश) से लहसुन आया नहीं है। और तीसरा इन दिनों बुवाई चल रही है, बुवाई के दौरान मांग बढ़ जाती है।


सरकार गिराने वाले फसले हैं लहसुन और प्याज

लहसुन की कम और ज्यादा कीमतों का सरकारों पर असर का पुराना इतिहास रहा है। 2017 में मध्य प्रदेश में किसान आंदोलन हुआ था, जिसमें मंदसौर में 6 किसानों की मौत हो गई थी। जिस मंदसौर जिले में 6 किसानों की गोली से मौत हो गई थी, वहां 2018 में कई घरों में लहसुन की बोरियां पड़ी हुई थीं, क्योंकि थोक में 10 से लेकर 50 रुपए किलो तक बिकने वाला लहसुन 2 रुपए किलो पहुंच गया था। प्याज और लहसुन के भाव की उठापठक ने तत्कालीन मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के खिलाफ कांग्रेस को मुद्दा दे दिया था।

जून 2018 में जब गांव कनेक्शन की टीम मंदसौर में थी, 2017 के किसान आंदोलन में जान गंवाने वाले कन्हैयालाल पाटीदार की मां के घर में 8 कुंतल तो बबलूपाटीदार के भाई के घर में करीब 25 कुंतल लहसुन रखा था मंदसौर में मल्हारगढ़ ब्लॉक में गर्रावद गांव के किसान मनोज सिंह चौहान के पास उस 25-30 कुंतल लहसुन घर में था। मनोज ने उस वक्त बात करते हुए था था कि मंडी में 300 से 800 रुपए प्रति कुंतल का रेट मिल रहा है। जबकि कम से कम 10 रुपए किलो तो लागत आती है। इस रेट पर बेचने से अच्छा है, सड़ जाए। ये पूरी ख़बर यहां पढ़ें- https://bit.ly/2t8drCG

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पिछले साल का वीडियो जब काफी कम थीं कीमतें


    

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