झांसी: प्रीमियम पार्किंग के नाम पर रेलवे की 'लूट', दो घंटे का चार्ज 236 रुपए

झांसी रेलवे स्टेशन के बाहर बनी प्रीमियम पार्किंग का रेट एयरपोर्ट की पार्किंग से भी महंगा है। यहां एक घंटे के लिए 118 रुपए, 2 घंटे के लिए 236 रुपए और इसके ऊपर हर दो घंटे के लिए 354 रुपए चुकाने होंगे।

Arvind ShuklaArvind Shukla   17 Oct 2018 1:09 PM GMT

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झांसी: प्रीमियम पार्किंग के नाम पर रेलवे की लूट, दो घंटे का चार्ज 236 रुपएझांसी में प्रीमियर कार पार्किंग के रेट को लेकर यात्रियों में नाराजागी, सोशल मीडिया पर जताया विरोध।

लखनऊ/झांसी। बुंदेलखंड क्षेत्र के झांसी रेलवे स्टेशन पर प्रीमियम पार्किंग यात्रियों के लिए मुसीबत बनती जा रही है। यहां पर दो घंटे की कार पार्किंग के 236 रुपए वसूले जा रहे हैं। जबकि लखनऊ के चारबाग में इसी प्रीमियम कार पार्किंग का रेट 25 रुपए है।

झांसी रेलवे स्टेशन के बाहर बनी प्रीमियम पार्किंग का रेट एयरपोर्ट की पार्किंग से भी महंगा है। यहां एक घंटे के लिए 118 रुपए, 2 घंटे के लिए 236 रुपए और इसके ऊपर हर दो घंटे के लिए 354 रुपए चुकाने होंगे। पार्किंग की दरों को लेकर स्टेशन के बाहर आए दिन यात्रियों, वाहन चालकों और ठेकेदार में विवाद होता रहता है।

मुंबई में रहने वाले लेखक आजम कादरी 17 अक्टूबर को दिल्ली-भोपाल शताब्दी से झांसी पहुंचे थे। आजम कादरी को स्टेशन लेने आए कार चालक से पार्किंग कर्मचारी ने 236 रुपए की मांग की, जिसके बाद उनकी ठेकेदार और स्टेशन के अधिकारियों से कहासुनी हुई। आजम ने अपनी फेसबुक पर पार्किंग की रसीद की फोटो पोस्ट करते हुए लिखा, दो घंटे के 236 रुपए वसूले जा रहे हैं, पर्ची पर रेलवे की कोई मुहर नहीं है, अधिकारी इस पर बात नहीं कर रहे, ये कुल मिलाकर धांधली है।

पार्किंग का इतना पैसा तो मुंबई एयरपोर्ट पर 24 घंटे का नहीं पड़ता है। मेरे ड्राइवर को पढ़ना नहीं आता था, इसलिए न उसने प्रीमियम कार पार्किंग का बोर्ड पढ़ा और न पर्ची पर लिखा समय। ऐसे तो बहुत सारे लोग पढ़ नहीं पाते होंगे, वैसे भी अगर पेनाल्टी है तो उसे लिखा जाए, पार्किंग के नाम पर तो लूट है।-आजम कादरी,यात्री और शिकायतकर्ता

झांसी में रेलवे स्टेशन पर लिए जाने वाले प्रीमियम कार पार्किंग की दरें। फोटो- साभार आजम कादरी

गांव कनेक्शन ने इस बारे में स्टेशन डायरेक्टर गिरीश कंचन से फोन पर बात की। पार्किंग की दरों को रेलवे द्वारा तय बताते हुए गिरीश कंचन ने कहा, "कई लोग स्टेशन की पार्किंग का गलत इस्तेमाल कर रहे थे, उसे रोकने के लिए ये पार्किंग महंगी की गई है, ताकि स्टेशन आने वाले यात्रियों को दिक्कत न हो। दूसरी बात शुरुआत के 20 मिनट के लिए ये सुविधा मुफ्त है, उसके बाद कोई रुकता है तो उसे निर्धारित पैसे वसूल किए जाते।"

लखनऊ स्थित चारबाग रेलवे स्टेशन पर प्रीमियम कार पार्किग की पर्ची, जिस पर 2 घंटे का रेट 25 रुपए लिखा है। फोटो सुयश

उत्तर मध्य रेलवे क्षेत्र के बड़े स्टेशनों में से एक और बुंदेलखंड क्षेत्र का सबसे बड़ा स्टेशन है। हजारों यात्री यहां से रोजाना आवागमन करते हैं। स्टेशन के बाहर तीन पार्किंग है जिसमें से दो में सामान्य चार्ज लगता है लेकिन स्टेशन के बिल्कुल पास वाली में लगने वाले चार्ज को लेकर पिछले कई समय से यहां विरोध होता रहा है।

झांसी के मंडल वाणिज्य प्रबंधक नीलेश भटनागर प्रीमियम चार्ज वसूलने को लेकर अलग तर्क देते हैं, "ये पार्किंग से ज्यादा पेनाल्टी है, क्योंकि सभी वाहन चालक सीधे स्टेशन के बाहर गाड़ियां खड़ी कर देते थे, जिससे स्टेशन आने जाने वालों को दिक्कत होती थी, इसलिए ज्यादा पैसे लगाए गए हैं। ये सुविधा कुछ देर रुकने वाले वाहनों के लिए बाकी के लिए सामान्य पार्किंग हैं।' रेलवे प्रशासन के मुताबिक स्टेशन के बाहर ही बोर्ड लगा है, जिस पर लिखा है ये प्रीमियम पार्किंग है। और उसके रेट लिखे हैं। और जैसे ही कोई वाहन अंदर आता है उसकी पर्ची पर समय लिखकर दे दिया जाता है, वापसी में समय के मुताबिक पैसे लिए जाते हैं।

कई लोग स्टेशन की पार्किंग का गलत इस्तेमाल कर रहे थे, उसे रोकने के लिए ये पार्किंग महंगी की गई है, ताकि स्टेशन आने वाले यात्रियों को दिक्कत न हो। दूसरी बात शुरुआत के 20 मिनट के लिए ये सुविधा मुफ्त है, उसके बाद कोई रुकता है तो उसे निर्धारित पैसे वसूल किए जाते।- गिरीश कंचन, स्टेशन डायरेक्टर,झांसी

आजम कादरी फोन पर बताते हैं, "पार्किंग वाले ने जब 236 रुपए मांगे तो मुझे भरोसा नहीं हुआ, क्योंकि इतना पैसा तो मुंबई एयरपोर्ट पर 24 घंटे का नहीं पड़ता है। मेरे ड्राइवर को पढ़ना नहीं आता था, इसलिए न उसने प्रीमियम कार पार्किंग का बोर्ड पढ़ा और न पर्ची पर लिखा समय। ऐसे तो बहुत सारे लोग पढ़ नहीं पाते होंगे, वैसे भी अगर पेनाल्टी है तो उसे लिखा जाए, पार्किंग के नाम पर तो लूट है।'

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महंगी पार्किंग रेट को लेकर झांसी स्टेशन पर कई बार मारपीट की नौबत आ चुकी है। झांसी में पत्रकार और रेलवे सलाहकार समिति के सदस्य जावेद असलम बताते हैं, "पहले यहां प्रीमियम पार्किंग नहीं थी, वाहनों के चलते जाम की समस्या थी, जिसे जीआरपी देखती थी, जाम के चलते लोगों को समस्या भी थी, तो पार्किंग होना अच्छी बात है लेकिन प्रीमियम पार्किंग के नाम पर जो रेट हैं वो बहुत ज्यादा है। यहां पलायन करने वाले लोग हैं, झांसी में इतने बड़े लोग नहीं कि पार्किंग के 200-300 रुपए दे पाएं।'

झांसी समेत भारत के लगभग सभी बड़े स्टेशनों पर सामान्य पार्किंग के अलावा प्रीमियम कार पार्किंग की व्यवस्था होती है, ये पार्किंग स्टेशन से सबसे नजदीक होती है इसलिए इसके रेट ज्यादा होते हैं। लेकिन झांसी के रेट बिल्कुल अलग है। लखनऊ के चारबाग रेलवे स्टेशन के बाहर भी प्रीमियम कार पार्किंग भी व्यवस्था है। लेकिन यहां दो घंटे का चार्ज केवल 25 रुपए है। अगर कोई 24 घंटे कार खड़ी रखता है तो जब जाकर कहीं 240 रुपए देने होंगे। जबकि झांसी में 24 घंटे के रेट कई हजार होंगे।

झांसी रेलवे स्टेशन। फोटो- जिशान हैदर

चारबाग रेलवे स्टेशन के बाहर प्रीमियम पार्किंग के कर्मचारी सुरेश कुमार बताते हैं, "प्रीमियम कार पार्किंग तो हमारी भी है, और ये रेट सरकारी टेंडर का है। मैंने नहीं सुना है कि किसी स्टेशन पर दो घंटे के 236 रुपए होते हैं। अलग-अलग रेलवे के मंडलों में रेट में थोड़ा बहुत फर्क हो सकता है लेकिन इसकी ज्यादा जानकारी उन्हें नहीं।'

लोगों की लगातार शिकायतों को लेकर पूछने पर झांसी स्टेशन डायरेक्टन ने कहा, पार्किंग बनाने और उसके रेट तय करने का अधिकार डिविजलन कमिश्नर को होता है, हमें जो शिकायतें मिल रही हैं उन्हें मंडल कमिश्नर को भेजते हैं, रेट कम होंगे या नहीं इसका फैसला रेलवे को करना है।'

झांसी में नवंबर 2016 से प्रीमियम कार पार्किंग सुविधा शुरु की गई। शुरुआत में दो घंटे के रेट 200 रुपए थे, जो अब बढ़ाकर 236 किया गया है। ठेकेदार की पर्ची पर रेलवे की मुहर न होना भी एक समस्या है। पर्ची होने पर 500 रुपए वसूलन की बात पर्ची पर लिखी है, जबकि गाड़ी खोने पर उसका क्लेम बीमा कंपनी पर डाला गया है। यानि ठेकेदार की कोई जिम्मेदारी नहीं है।

लखनऊ का चारबाग रेलवे स्टेशन, जिसके ठीक सामने प्रीमियम कार पार्किंग है।

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