लंदन (भाषा)। भारत के करीब 20 करोड़ वयस्कों को उच्च रक्तचाप (हाई ब्लडप्रेशर) है और विश्व भर में इससे पीड़ित लोगों की तादाद बढ़कर 1.13 अरब तक पहुंच गयी है।
इंपीरियल कॉलेज, लंदन के वैज्ञानिकों की अगुवाई में किये गये अध्ययन में देखा गया कि दुनिया भर में पिछले 40 वर्षों में उच्च रक्तचाप के मरीजों की संख्या लगभग दोगुनी हो गयी है।
द लैंसेट जर्नल में प्रकाशित अध्ययन के अनुसार वर्ष 2015 के आंकड़े को देखें तो पता चलता है कि दुनिया भर में रक्तचाप से पीडि़त कुल लोगों में से आधे एशिया में रहते हैं। भारत के पड़ोसी देश चीन में करीब 22.6 करोड लोगों को उच्च रक्तचाप है। अनुसंधानकर्ताओं ने हर देश में वर्ष 1975 से 2015 के बीच रक्तचाप में आये अंतर का अध्ययन किया। उन्होंने साथ ही पाया कि वर्ष 2015 में अधिकतर देशों में महिलाओं की तुलना में अधिकतर पुरुष उच्च रक्तचाप से पीड़ित हैं।
अध्ययन में करीब दो करोड़ लोगों के रक्तचाप के आंकड़ों को शामिल किया गया है। इन आंकड़ों के विश्लेषण से पता चलता है कि उच्च आय वाले देशों में रक्तचाप में तेजी से गिरावट आयी है, वहीं कई निम्न एवं मध्यम आय वाले देशों खासकर अफ्रीकी और दक्षिण एशियाई देशों में इसमें वृद्धि दर्ज की गयी है।