मप्र : सहरिया आदिवासियों को फल-दूध के लिए प्रतिमाह मिलेंगे 1000 रुपए

  • Whatsapp
  • Telegram
  • Linkedin
  • koo
  • Whatsapp
  • Telegram
  • Linkedin
  • koo
  • Whatsapp
  • Telegram
  • Linkedin
  • koo
मप्र : सहरिया आदिवासियों को फल-दूध के लिए प्रतिमाह मिलेंगे 1000 रुपएआदिवासी।

शिवपुरी(आईएएनएस)। मध्य प्रदेश के सहरिया आदिवासियों में बढ़ते कुपोषण पर अंकुश लगाने के लिए राज्य सरकार उन्हें सब्जी, फल और दूध के लिए हर माह एक हजार रुपए देगी। यह ऐलान मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शनिवार को शिवपुरी के सेसई गांव में आयोजित आदिवासी सम्मेलन में किया।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने कहा कि आदिवासी बाहुल्य ग्रामों में कुपोषण मिटाने के लिए राज्य सरकार के प्रयास जारी हैं। इसी क्रम में सहरिया आदिवासियों को एक हजार रुपए प्रतिमाह सब्जी, दूध और फलों के लिए दिए जाएंगे। यह पैसा आदिवासी महिला के बैंक खाते में जमा किया जाएगा।

ये भी पढ़ें- तेलंगाना के आदिवासी किसान सीखे रहे खेती की नई तकनीक

शिवराज ने कहा कि अभी सरकार आदिवासियों को एक रुपए किलो गेहूं, चावल और नमक देती है लेकिन अब सब्जी और फलों के लिए भी पैसे दिए जाएंगे। गौरतलब है कि शिवपुरी व श्योपुर जिलों में 50 हजार से ज्यादा सहरिया बच्चे कुपोषण की चपेट में हैं। शिवपुरी व श्योपुर में पिछले साल कुपोषण के कारण 150 से ज्यादा बच्चों की मौत हुई थी। इस मामले पर जमकर राजनीति भी हुई थी।

मुख्यमंत्री ने सहरिया आदिवासी समाज के उत्थान के लिए सरकार की संकल्पता को दोहराते हुए कहा, "मप्र में सहरिया आदिवासियों को पुलिस सहित दूसरे विभागों में होने वाली भर्ती में भी सरकार रियायत देगी। पुलिस में फिजिकल टेस्ट के बाद सीधी भर्ती की जाएगी।"

ये भी पढ़ें- आदिवासी महिला अन्नपूर्णा ने गहने गिरवी रखकर बनवाया शौचालय

मुख्यमंत्री ने साढ़े सात करोड़ रुपये की राशि से सबरी माता के मंदिर का निर्माण कराने की भी घोषणा की। मुख्यमंत्री ने कहा कि आदिवासी बच्चे आगे पढ़ें और बढ़ें इसलिए ग्वालियर व इंदौर में इनके लिए छात्रावास बनाए जाएंगे।

यहां बताना लाजिमी होगा कि शिवपुरी जिले के कोलरस विधानसभा क्षेत्र में आगामी कुछ दिनों में उप-चुनाव होने वाले हैं और इस क्षेत्र में सहरिया आदिवासियों के मतदाताओं की संख्या अच्छी खासी है। मुख्यमंत्री की इन घोषणाओं को चुनाव में लाभ पाने की मंशा की नजर से देखा जा रहा है।

ये भी पढ़ें- एक कलेक्टर ने बदल दी हजारों आदिवासी लोगों की जिंदगी, पढ़िए सराहनीय ख़बर

      

Next Story

More Stories


© 2019 All rights reserved.