ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाने से ही देश की तरक्की: मोदी
गाँव कनेक्शन | Sep 16, 2016, 16:12 IST
महू (भाषा)। डॉ बी आर अम्बेडकर की 125वीं जयंती पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 'ग्राम उदय से भारत उदय अभियान' का शुभारंभ करते हुए कहा कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करके ही देश के आर्थिक विकास के पहिये को तेजी से घुमाया जा सकता है।
प्रधानमंत्री मोदी ने 14 अप्रैल से 24 अप्रैल तक चलने वाले देशव्यापी 'ग्राम उदय से भारत उदय' अभियान के उद्घाटन समारोह में कहा, ''महात्मा गांधी ने ग्राम स्वराज की जो अवधारणा प्रतिपादित की थी, वो अब तक मूर्त रूप नहीं ले सकी है और आजादी के लगभग 70 साल बाद भी गाँवों की हालत में बदलाव नहीं आया है। हमने इसमें बदलाव लाने के लिये इस अभियान की शुरुआत की है।'' पीएम मोदी ने कहा कि ये अभियान डॉ अम्बेडकर की प्रेरणा से शुरू किया गया है, क्योंकि वो दूरदृष्टा होने के साथ सामाजिक सशक्तिकरण, आर्थिक समृद्धि और आधुनिक तकनीक के पक्षधर थे।
उन्होंने कहा, ''देश का स्थाई आर्थिक विकास केवल 50 बडे शहरों और इतने ही उद्योगपतियों के बूते नहीं हो सकता है। हमें गाँवों की नींव मजबूत खड़ी करनी होगी तभी इस पर देश के स्थाई आर्थिक विकास की इमारत खड़ी हो सकती है।'' उन्होंने कहा कि सरकार देश के उन 18,000 हजार गाँवों में केवल 1,000 दिन के भीतर विद्युत आपूर्ति की व्यवस्था करने की योजना पर काम कर रही है, जहां आजादी के 70 साल बाद भी बिजली नहीं पहुंच सकी है और इन ग्रामीण इलाके के लोगों को आज भी 18वीं, 19वीं सदी की तरह जीवन जीना पड़ रहा है। उन्होंने ये भी कहा कि सरकार देश के 2.5 लाख गाँवों में ऑप्टीकल फाइबर की लाइन बिछाते हुए डिजिटल कनेक्टिविटी मुहैया कराने की योजना पर काम कर रही है।
प्रधानमंत्री मोदी ने 14 अप्रैल से 24 अप्रैल तक चलने वाले देशव्यापी 'ग्राम उदय से भारत उदय' अभियान के उद्घाटन समारोह में कहा, ''महात्मा गांधी ने ग्राम स्वराज की जो अवधारणा प्रतिपादित की थी, वो अब तक मूर्त रूप नहीं ले सकी है और आजादी के लगभग 70 साल बाद भी गाँवों की हालत में बदलाव नहीं आया है। हमने इसमें बदलाव लाने के लिये इस अभियान की शुरुआत की है।'' पीएम मोदी ने कहा कि ये अभियान डॉ अम्बेडकर की प्रेरणा से शुरू किया गया है, क्योंकि वो दूरदृष्टा होने के साथ सामाजिक सशक्तिकरण, आर्थिक समृद्धि और आधुनिक तकनीक के पक्षधर थे।
उन्होंने कहा, ''देश का स्थाई आर्थिक विकास केवल 50 बडे शहरों और इतने ही उद्योगपतियों के बूते नहीं हो सकता है। हमें गाँवों की नींव मजबूत खड़ी करनी होगी तभी इस पर देश के स्थाई आर्थिक विकास की इमारत खड़ी हो सकती है।'' उन्होंने कहा कि सरकार देश के उन 18,000 हजार गाँवों में केवल 1,000 दिन के भीतर विद्युत आपूर्ति की व्यवस्था करने की योजना पर काम कर रही है, जहां आजादी के 70 साल बाद भी बिजली नहीं पहुंच सकी है और इन ग्रामीण इलाके के लोगों को आज भी 18वीं, 19वीं सदी की तरह जीवन जीना पड़ रहा है। उन्होंने ये भी कहा कि सरकार देश के 2.5 लाख गाँवों में ऑप्टीकल फाइबर की लाइन बिछाते हुए डिजिटल कनेक्टिविटी मुहैया कराने की योजना पर काम कर रही है।