By Subha Rao
ऐसे समय में जब दुनिया शॉर्ट-कट और भागमदौड़ में शामिल हो चुकी है, नीलेश मिसरा का नया वेंचर 'स्लो प्रोडक्ट्स प्राइवेट लिमिटेड' पारंपरिक तौर से बने उत्पादों को आपके सामने ला रहा है। शत प्रतिशत शुद्ध उत्पादों वाले इस वेंचर से ना सिर्फ उपभोक्ताओं को फायदा होगा बल्कि किसानों को भी उनके उत्पादों का वाजिब दाम मिल सकेगा।
ऐसे समय में जब दुनिया शॉर्ट-कट और भागमदौड़ में शामिल हो चुकी है, नीलेश मिसरा का नया वेंचर 'स्लो प्रोडक्ट्स प्राइवेट लिमिटेड' पारंपरिक तौर से बने उत्पादों को आपके सामने ला रहा है। शत प्रतिशत शुद्ध उत्पादों वाले इस वेंचर से ना सिर्फ उपभोक्ताओं को फायदा होगा बल्कि किसानों को भी उनके उत्पादों का वाजिब दाम मिल सकेगा।
By Subha Rao
केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) देश की सबसे पुरानी अर्धसैनिक इकाइयों में से एक है। सीआरपीएफ ने अब तक 2,112 वीरता के पदक जीते हैं और देश की सेवा में 2,224 जवानों ने बलिदान दिया है। नीलेश मिसरा और उनके द्वारा प्रशिक्षित कहानीकार अब 'दी स्लो ऐप' पर उनकी वीरता की कहानियां सुनाएंगे।
केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) देश की सबसे पुरानी अर्धसैनिक इकाइयों में से एक है। सीआरपीएफ ने अब तक 2,112 वीरता के पदक जीते हैं और देश की सेवा में 2,224 जवानों ने बलिदान दिया है। नीलेश मिसरा और उनके द्वारा प्रशिक्षित कहानीकार अब 'दी स्लो ऐप' पर उनकी वीरता की कहानियां सुनाएंगे।
By Subha Rao
फिल्म "दम लगा के हईशा" में भूमि पेडनेकर ने ज्यादा वजन की लड़की का किरदार निभाने के लिए अपना वजन कई किलो बढ़ाया था, लेकिन इस फिल्म के बाद उन्होंने अपना वजन तकरीबन 30 किलो घटाया। फ़िल्म इंडस्ट्री में अपने अनुभवों को भूमि ने स्लो कैफ़े में नीलेश मिसरा के साथ साझा किया।
फिल्म "दम लगा के हईशा" में भूमि पेडनेकर ने ज्यादा वजन की लड़की का किरदार निभाने के लिए अपना वजन कई किलो बढ़ाया था, लेकिन इस फिल्म के बाद उन्होंने अपना वजन तकरीबन 30 किलो घटाया। फ़िल्म इंडस्ट्री में अपने अनुभवों को भूमि ने स्लो कैफ़े में नीलेश मिसरा के साथ साझा किया।
By Subha Rao
यह पढ़ने या सुनने में काफी अजीब लगता होगा लेकिन यह सच है कि कोरोना महामारी ने बहुत से लोगों को एक ठहराव दिया है। प्रसिद्ध अभिनेता अनुपम खेर ने इस दौरान एक किताब लिखी है। उन्होंने अपनी इस किताब और जीवन के अन्य पहलूओं के बारे में दी स्लो कैफे में नीलेश मिसरा से चर्चा की।
यह पढ़ने या सुनने में काफी अजीब लगता होगा लेकिन यह सच है कि कोरोना महामारी ने बहुत से लोगों को एक ठहराव दिया है। प्रसिद्ध अभिनेता अनुपम खेर ने इस दौरान एक किताब लिखी है। उन्होंने अपनी इस किताब और जीवन के अन्य पहलूओं के बारे में दी स्लो कैफे में नीलेश मिसरा से चर्चा की।
By Subha Rao
ई-कॉमर्स कंपनी फ्लिपकार्ट और गांव कनेक्शन का 45 दिन का यह खास अभियान 'हैंड्स ऑफ इंडिया', निर्माता, विक्रेताओं और ग्राहकों की कहानियां लगातार प्रस्तुत कर रहा है। इसका उद्देश्य भारत के निर्माण में मदद करने वाले लोगों के लिए सहानुभूति और गर्व की भावना पैदा करना है। इस कड़ी के दूसरे भाग में पढ़िए पूनम सैनी की कहानी, जिन्होंने फ्लिपकार्ट के माध्यम से एक व्यवसायी होने के अपने सपने को पूरा किया।
ई-कॉमर्स कंपनी फ्लिपकार्ट और गांव कनेक्शन का 45 दिन का यह खास अभियान 'हैंड्स ऑफ इंडिया', निर्माता, विक्रेताओं और ग्राहकों की कहानियां लगातार प्रस्तुत कर रहा है। इसका उद्देश्य भारत के निर्माण में मदद करने वाले लोगों के लिए सहानुभूति और गर्व की भावना पैदा करना है। इस कड़ी के दूसरे भाग में पढ़िए पूनम सैनी की कहानी, जिन्होंने फ्लिपकार्ट के माध्यम से एक व्यवसायी होने के अपने सपने को पूरा किया।
By Subha Rao
#JaaneinBachayenge जाने बचाएंगे... गीत पीपीई किट-वर्दी में पर्दे के पीछे रहकर मानवता की सेवा करने वाले फ्रंटलाइन वर्कर्स के सम्मान में लिखा गया है। कोरोना महामारी के वक्त में खुद की जान जोखिम में डालकर ये फ्रंट लाइन वर्कर कई रुपों में हमारी सेवा कर रहे, इनमें से बहुत लोगों की इस दौरान जान तक चली गई। इन्हीं फ्रंट लाइन वर्कर्स को इस गीत के जरिए लोकप्रिय गायक अरिजीत सिंह और गीतकार नीलेश मिसरा शुक्रिया कह रहे हैं...
#JaaneinBachayenge जाने बचाएंगे... गीत पीपीई किट-वर्दी में पर्दे के पीछे रहकर मानवता की सेवा करने वाले फ्रंटलाइन वर्कर्स के सम्मान में लिखा गया है। कोरोना महामारी के वक्त में खुद की जान जोखिम में डालकर ये फ्रंट लाइन वर्कर कई रुपों में हमारी सेवा कर रहे, इनमें से बहुत लोगों की इस दौरान जान तक चली गई। इन्हीं फ्रंट लाइन वर्कर्स को इस गीत के जरिए लोकप्रिय गायक अरिजीत सिंह और गीतकार नीलेश मिसरा शुक्रिया कह रहे हैं...
By Subha Rao
आपने ओटीटी प्लेटफॉर्म पर विद्या बालन की “शेरनी” फिल्म देख ली होगी। अब जानिए कि कैसे रेस्क्यू कर लाए गए हाथी, बाघ और अन्य जानवर प्राणी उद्यानों में अपना जीवन व्यतीत करते हैं।
आपने ओटीटी प्लेटफॉर्म पर विद्या बालन की “शेरनी” फिल्म देख ली होगी। अब जानिए कि कैसे रेस्क्यू कर लाए गए हाथी, बाघ और अन्य जानवर प्राणी उद्यानों में अपना जीवन व्यतीत करते हैं।
By Subha Rao
स्लो एप पर देखिए उत्तर प्रदेश के दुधवा नेशनल पार्क में हाथी सुलोचना और उसके महावत अयूब खान के बीच के प्यार और विश्वास की अटूट कहानी।
स्लो एप पर देखिए उत्तर प्रदेश के दुधवा नेशनल पार्क में हाथी सुलोचना और उसके महावत अयूब खान के बीच के प्यार और विश्वास की अटूट कहानी।
By Subha Rao
दुधवा टाइगर रिजर्व के फील्ड डायरेक्टर संजय पाठक बताते हैं कि वह कितने खुश हुए थे, जब उन्होंने एक दुर्लभ आर्किड को देखा था। वह कहते हैं कि किसी निश्चित एजेंडे के बिना प्रकृति का आनंद लेना क्यों जरूरी है। देखिए स्लो ऐप के साथ बातचीत में उन्होंने क्या कहा।
दुधवा टाइगर रिजर्व के फील्ड डायरेक्टर संजय पाठक बताते हैं कि वह कितने खुश हुए थे, जब उन्होंने एक दुर्लभ आर्किड को देखा था। वह कहते हैं कि किसी निश्चित एजेंडे के बिना प्रकृति का आनंद लेना क्यों जरूरी है। देखिए स्लो ऐप के साथ बातचीत में उन्होंने क्या कहा।