हुनर हाट: कारीगरों को नाम और कमाई देता एक मंच
हुनर हाट: कारीगरों को नाम और कमाई देता एक मंच

By Arvind Shukla

हुनर हाट में देश के अलग-अलग हिस्सों के हैंडीक्राफ्ट, आर्ट, कल्चर का संगम दिखता है। कारीगरों और निर्माताओं के मुताबिक उन्हें ऐसे आयोजन से नाम और पैसा दोनों मिलते हैं। लखनऊ में चल रहे Hunar Haat हुनर हाट में आए कई राज्यों के कारीगरों से गांव कनेक्शन से खास बात की। देखिए वीडियो

हुनर हाट में देश के अलग-अलग हिस्सों के हैंडीक्राफ्ट, आर्ट, कल्चर का संगम दिखता है। कारीगरों और निर्माताओं के मुताबिक उन्हें ऐसे आयोजन से नाम और पैसा दोनों मिलते हैं। लखनऊ में चल रहे Hunar Haat हुनर हाट में आए कई राज्यों के कारीगरों से गांव कनेक्शन से खास बात की। देखिए वीडियो

हुनर हाट : 'एक जनपद एक उत्पाद' में यूपी के 75 जिले का हर स्वदेशी उत्पाद है बेहद ख़ास
हुनर हाट : 'एक जनपद एक उत्पाद' में यूपी के 75 जिले का हर स्वदेशी उत्पाद है बेहद ख़ास

By Neetu Singh

लखनऊ के अवध शिल्पग्राम में चल रहे हुनर हाट में 'एक जनपद एक उत्पाद' में यूपी के 75 जिले से भिन्न-भिन्न तरह के स्वदेशी उत्पाद आये हुए हैं। ये उत्पाद लोकल फॉर वोकल का जीता जागता उदाहरण हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में वर्षों से ये कारीगर जो उत्पाद बनाते आये हैं उनको इस हुनर हाट में मार्केटिंग का एक बेहतर मौका मिला है।

लखनऊ के अवध शिल्पग्राम में चल रहे हुनर हाट में 'एक जनपद एक उत्पाद' में यूपी के 75 जिले से भिन्न-भिन्न तरह के स्वदेशी उत्पाद आये हुए हैं। ये उत्पाद लोकल फॉर वोकल का जीता जागता उदाहरण हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में वर्षों से ये कारीगर जो उत्पाद बनाते आये हैं उनको इस हुनर हाट में मार्केटिंग का एक बेहतर मौका मिला है।

यहां से खरीद सकते हैं अच्छी नस्ल के दुधारू पशु
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By Diti Bajpai

छत्तीसगढ़िया गांव: यहां बारहों महीने है तीज–त्यौहार का मौसम
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By Manisha Kulshreshtha

मनीषा कुलश्रेष्ठ हिंदी की लोकप्रिय कथाकार हैं। गांव कनेक्शन में उनका यह कॉलम अपनी जड़ों से दोबारा जुड़ने की उनकी कोशिश है। अपने इस कॉलम में वह गांवों की बातें, उत्सवधर्मिता, पर्यावरण, महिलाओं के अधिकार और सुरक्षा जैसे मुद्दों पर चर्चा करेंगी।

मनीषा कुलश्रेष्ठ हिंदी की लोकप्रिय कथाकार हैं। गांव कनेक्शन में उनका यह कॉलम अपनी जड़ों से दोबारा जुड़ने की उनकी कोशिश है। अपने इस कॉलम में वह गांवों की बातें, उत्सवधर्मिता, पर्यावरण, महिलाओं के अधिकार और सुरक्षा जैसे मुद्दों पर चर्चा करेंगी।

साल 2013 में आयी आपदा से अब तक नहीं उबर पाए केदार घाटी के कई गाँव
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By Robin Singh Chauhan

यूपी के राजभवन लॉन में लगी तीन दिवसीय प्रादेशिक फल, शाकभाजी प्रदर्शनी, कई हुनरमंदों को मिला उत्पाद बेचने का मौका
यूपी के राजभवन लॉन में लगी तीन दिवसीय प्रादेशिक फल, शाकभाजी प्रदर्शनी, कई हुनरमंदों को मिला उत्पाद बेचने का मौका

By गाँव कनेक्शन

राजभवन के लॉन में तीन दिवसीय 6 से 8 फरवरी तक प्रादेशिक फल, शाक-भाजी और पुष्प प्रदर्शनी लग गयी है। इस प्रदर्शनी में राज्यभर के जागरूक सफल किसान, कृषि विशेषज्ञ एवं फल उत्पादक शामिल हुए हैं। आम जनता के लिए खोली गयी इस प्रदर्शनी में कई हुनरमंदों को अपने विशेष उत्पाद बेचने का भी मौका मिला है।

राजभवन के लॉन में तीन दिवसीय 6 से 8 फरवरी तक प्रादेशिक फल, शाक-भाजी और पुष्प प्रदर्शनी लग गयी है। इस प्रदर्शनी में राज्यभर के जागरूक सफल किसान, कृषि विशेषज्ञ एवं फल उत्पादक शामिल हुए हैं। आम जनता के लिए खोली गयी इस प्रदर्शनी में कई हुनरमंदों को अपने विशेष उत्पाद बेचने का भी मौका मिला है।

हस्त कलाओं का कारोबार विकसित करेगा यूपी
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By गाँव कनेक्शन

ओडिशा: सड़कों पर कलाबाजी दिखाने से लेकर चटाई बनाने का सफर, एक आदिवासी समुदाय की कहानी
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By Ashis Senapati

ओडिशा में मुंडापोटा केला जनजाति की युवा पीढ़ी अपने बड़ों को हमेशा रोजी रोटी के लिए अपनी सांस रोक कर अपने सर को मिट्टी में दबाते देखा है। लेकिन इस समुदाय के कई सदस्य अब खजूर के पत्तों से चटाई और झाड़ू बना रहे हैं ताकि रोजाना की मूलभूत जरूरतों को पूरा किया जा सके। हालांकि, ये समुदाय अभी भी पीने के साफ पानी के लिए तरस रहा है।

ओडिशा में मुंडापोटा केला जनजाति की युवा पीढ़ी अपने बड़ों को हमेशा रोजी रोटी के लिए अपनी सांस रोक कर अपने सर को मिट्टी में दबाते देखा है। लेकिन इस समुदाय के कई सदस्य अब खजूर के पत्तों से चटाई और झाड़ू बना रहे हैं ताकि रोजाना की मूलभूत जरूरतों को पूरा किया जा सके। हालांकि, ये समुदाय अभी भी पीने के साफ पानी के लिए तरस रहा है।

सरकारी एजेंडे से बाहर हैं आदिवासी किसान, चिरौंजी देकर नमक खरीदते हैं लोग
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By Arvind Kumar Singh

'कृषि क्षेत्र के उद्यम में आगे बढ़ें ग्रामीण महिलाएं'
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By गाँव कनेक्शन

कानपुर के चंद्रशेखर आजाद कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय में मनाया गया कृषक महिला सशक्तिकरण, खाद्य व पोषण सुरक्षा एवं समृद्धि कार्यक्रम, राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने ग्रामीण महिलाओं को आत्मनिर्भर बनने के लिए किया प्रेरित।

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