बकरी से अधिक कमाना चाहते हैं मुनाफा तो उनके पोषण का रखें ध्यान
Karan Pal Singh | Dec 23, 2017, 13:17 IST
मथुरा। भारत में बकरी पालन बहुत तेजी से बढ़ रहा है। बकरी पालन में सबसे ज्यादा किसान की भागीदारी है। लगभग 75 से 80 प्रतिशत बकरी पालक किसान इनके पोषण पर ध्यान नहीं देते हैं। जिससे किसानों को भारी मात्रा में आर्थिक नुकसान उठाना पड़ता है। किसान बकरियों के पोषण पर पूरा ध्यान दें तो उन्ही बकरियों से अधिक मुनाफा कमा सकता है।
केंद्रीय बकरी अनुसंधान केंद्र (सीआईआरजी) के बकरी पोषण विभाग के वैज्ञानिक डॉ़ रवींद्र कुमार बताते हैं, ''किसानों को बकरियों के पोषण पर ज्यादा ध्यान देना चाहिए। जिन बकरियों से किसान अभी मुनाफा कमा रहा है अगर उन्हीं बकरियों के पोषण पर ध्यान दें तो मुनाफा में इजाफा होगा। ज्यादातर किसान बकरियों को चरा कर बांध देता है लेकिन ऐसा नहीं करना चाहिए। बकरियों को चराने के बाद उन्हें उचित चारा देना चाहिए जिससे उनके मांस और दूध में वृद्धि होगी।''
बकरियों के पोषण और उनकी मृत्यु दर कम करने के लिए डॉ़ रवींद्र कुमार बताते हैं, ''सबसे पहले बकरी का बच्चा पैदा होने के बाद उसे खीस (पहला दूध) जरूर पिलाएं। नवजात बच्चे को खीस पिलाने से कई रोगों का निदान हो जाता है। बच्चे का इम्यूनिटी सिस्टम मजबूत होता है जिससे मृत्युदर में कमी आती है। जब बच्चे थोड़ा बड़ा हो जाए तो उन्हें थोड़ा हरा चारा और अनाज खिलाएं। बच्चों को तीन माह तक मां का दूध जरूर पिलाएं। जब बच्चे तीन माह के हो जाएं तो उन्हें चरने को भेजे और चारे में दाना जरूर दें।''
बकरियों की जांच करते डा रवींद्र कुमारडॉ़ रवींद्र कुमार बताते हैं, ''तीन से पांच माह के बच्चों को चारे में दाने के साथ-साथ हरी पत्तियां खिलाएं। जो बच्चे स्लाटर ऐज (11 से 12 माह) के बीच होते हैं उनके चारे में 40 प्रतिशत दाना और 60 प्रतिशत सूखा चारा होना चाहिए। दूध देने वाली बकरी को दिन चारे के साथ 400 ग्राम अनाज देना चाहिए। ब्रीडिंग करने वाले वयस्क बकरों को प्रतिदिन सूखे चारे के साथ हरा चारा और 500 ग्राम अनाज देना चाहिए।''
बकरियों के पोषण के लिए प्रतिदिन दाने के साथ सूखा चारा होना चाहिए। दाने में 57 प्रतिशत मक्का, 20 प्रतिशत मूंगफली की खली, 20 प्रतिशत चोकर, 2 प्रतिशत मिनरल मिक्चर, 1 प्रतिशत नमक होना चाहिए। सूखे चारे में गेहूं का भूसा, सूखी पत्ती, धान का भूसा, उरद कर भूसा या अरहर का भूसा होना चाहिए। ठंड के मौसम में गन्ने का सीरा जरूर दें। इन सबको चारे में बकरियों को खिलाया जाएगा तो बकरी में मांस के साथ-साथ दूध में वृद्धि होगी। जिससे किसानों की आय दोगुनी हो जाएगी।
केंद्रीय बकरी अनुसंधान केंद्र (सीआईआरजी) के बकरी पोषण विभाग के वैज्ञानिक डॉ़ रवींद्र कुमार बताते हैं, ''किसानों को बकरियों के पोषण पर ज्यादा ध्यान देना चाहिए। जिन बकरियों से किसान अभी मुनाफा कमा रहा है अगर उन्हीं बकरियों के पोषण पर ध्यान दें तो मुनाफा में इजाफा होगा। ज्यादातर किसान बकरियों को चरा कर बांध देता है लेकिन ऐसा नहीं करना चाहिए। बकरियों को चराने के बाद उन्हें उचित चारा देना चाहिए जिससे उनके मांस और दूध में वृद्धि होगी।''
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बकरियों की जांच करते डा रवींद्र कुमार