“अच्छे कार्य करके आनंद को पाया जा सकता है”

Kavita DwivediKavita Dwivedi   4 Jun 2017 1:00 PM GMT

“अच्छे  कार्य करके आनंद को पाया जा सकता है”हर साल गर्मियों में प्यास से हजारों परिन्दे मर जाते हैं।

बाराबंकी। “परिन्दे और पुष्प प्रकृति के सुन्दर उपहार हैं। प्रकृति संतुलन बनाए रखने में परिंदों का विशेष योगदान रहता है। हर साल गर्मियों में प्यास से हजारों परिन्दे मर जाते हैं।” उक्त विचार युगान्तर विद्या मंदिर फतेहपुर में आयोजित परिन्दा संरक्षण अभियान में मुख्य अतिथि सोशल एक्टिविस्ट प्रदीप सारंग ने व्यक्त किए।

उन्होंने कहा, “अपने घर की छत पर पानी रखकर परिंदों की प्यास बुझाने में सहयोग कर उनके जीवन को बचा सकते हैं।” इस अवसर पर साई डिग्री कॉलेज के प्रबंधक विपिन राठौर ने कहा,“ गलत आदतों से मनुष्य ने आज सम्पूर्ण पृथ्वी को खतरा उत्पन्न कर दिया है। हमें अपनी आदतों में सुधार कर अच्छी आदतें धारण करनी होंगी।”

इस अवसर पर जिला स्काउट मास्टर राजेंद्र त्रिपाठी ने अपने संबोधन में सुख और आनंद में अंतर बताते हुए कहा,“ संसाधनों से सुख और अच्छे कार्य करके आनंद को पाया जा सकता है।” वहीं इस मौके पर युगान्तर विद्यामंदिर के प्रिंसिपल आशुतोष सिंह ने सभी का स्वागत किया और बच्चों में मिट्टी के बर्तन वितरित करवाये।

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