'बर्डमैन ऑफ चेन्नई' #BirdmanofChennai यह नाम सुन कर एक बार आप चौंके बिना नहीं रह सकते, अरे यह कैसा नाम है। चेन्नई के रोयापेट्टा में रहने वाले जोसेफ सेकर को 'बर्डमैन ऑफ चेन्नई' के नाम से पुकारा जाता है। इस नाम को वो बहुत खुशी से स्वीकार करते हैं।
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जोसेफ सेकर (63 वर्ष) पिछले दस साल से इन 8000 से अधिक तोतों व अन्य पक्षियों की अपने घर की छत पर मेजबानी करते हैं। रोजाना वह अपनी कमाई का आधा हिस्सा इन तोतों की मेजबानी में खर्च कर देते हैं। वे प्रतिदिन 30 किलो चावल पकाकर लकड़ी बने एक थालीनुमा कटोरे में डाल देते हैं। इसके बाद वहां इंतजार कर तोते उन पर टूट जाते हैं।
बर्डमैन ऑफ चेन्नई कैमरा तकनीशियन हैं जो कुछ मेहनत से कमाते हैं उसका आधा अपने दोस्तों पर खर्च कर देते हैं। जोसेफ सेकर को इससे बहुत खुशी होती है।
जोसेफ का तोतों से यह जुड़ाव उस वक्त शुरू हुआ जब शहर में एक बार सुनामी आई थी, उस वक्त पक्षी क्या आदमियों को भी रहने खाने का ठिकाने नहीं मिल रहा था, ऐसे वक्त जोसेफ इन पक्षियों (तोतों) के लिए भगवान से कम नहीं साबित हुए। वो दिन है और आज का दिन दोनों में जो दोस्ती हुई आज तक बरकरार है।
जोसेफ की एक बड़ी दिक्कत है कि उनकी छत काफी छोटी है और वहां पर सिर्फ 3,000 पक्षियों की जगह है, लेकिन उसके बावजूद वहां पर पक्षियों का बसेरा रहता था। जोसेफ लगभग 10 दिनों का दानों का स्टॉक रखते हैं ताकि किसी भी मुसीबत की घड़ी में पक्षियों को भूखा न रहना पड़े।
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पक्षी प्रेमियों के बीच बर्डमैन ऑफ चेन्नई की प्रसिद्धि पहुंच चुकी है। वे उनके बीच काफी लोकप्रिय है। रोजाना ढेर सारे पक्षी उनके घर की छत पर आते हैं और तोतों की एक्टिविटी देखते हैं और खुश होकर जाते है।
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