इस तरीके को अपनाएं मुर्गी पालक, होगी ज़्यादा कमाई

Diti Bajpai | Jun 02, 2017, 15:13 IST
Swayam Project
स्वयं प्रोजेक्ट डेस्क

लखनऊ। पिछले कुछ वर्षों में प्रदेश में मुर्गी पालन का व्यवसाय तेजी से बढ़ा है, ऐसे में मुर्गी पालक अगर मुर्गियों के प्रजनन पर खास ध्यान देकर चूजों से ज्यादा कमाई कर सकता है।

केन्द्रीय पक्षी अनुसंधान संस्थान, बरेली के प्रधान वैज्ञानिक डॉ. एमपी सागर बताते हैं, “तेज़ी से बढ़ने वाले, स्वस्थ मुर्गा/मुर्गी का चयन करना चाहिए, ऐसे पक्षियों की मजबूत चोंच व छोटे पैने नाखून होते हैं, लाल कलगी स्वस्थ एवं चुस्त कुक्कुट की निशानी होती है।

जो मुर्गियां कम उम्र में अंडे देना शुरु कर देती हैं, उन्हें व उनके चूजों को प्रजनन के लिए चुनना चाहिए। दो वर्ष से अधिक समय तक अण्डे दे रही मुर्गियों को प्रजनन के लिए फिर से उपयोग नहीं करना चाहिए। मुर्गियों के अण्डे देने के स्थान के दोनों तरफ नुकीली हड्डी होती है। इन दो हड्डीयों के बीच तीन उंगली का बराबर फासला अच्छा माना जाता है।

कुछ मुर्गे अकेले इधर से उधर भटकते हैं इनका चयन प्रजनन के लिए नहीं करना चाहिए। प्रजनन के लिए उन मुर्गों का चयन करना चाहिए, जो प्रजनन के लिए मुर्गियों के पीछे दौड़ते हैं। चयनित प्रजनन योग्य मुर्गों को एक वर्ष के भीतर बदल देना चाहिए। पशुपालक ऐसे नर कुक्कुट को आपस में बदल सकते हैं।

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