हिंदुत्व राजनीति की मुखर आलोचक गौरी लंकेश की हत्या पर मोदी, संघ प्रमुख चुप क्यों : भाकपा 

Update: 2017-09-06 15:32 GMT
कन्नड पत्रकार गौरी लंकेश व भाकपा के राष्ट्रीय सचिव डी राजा।

नई दिल्ली (भाषा)। कन्नड पत्रकार गौरी लंकेश की हत्या पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और संघ प्रमुख मोहन भागवत की चुप्पी पर हैरत जताते हुए भाकपा ने आज सवाल उठाए। पार्टी ने आरोप लगाया कि इस हमले के पीछे दक्षिणपंथी और धर्मांन्ध ताकतें हैं।

भाकपा के राष्ट्रीय सचिव डी राजा ने कहा, ' ' मैं उनकी हत्या की कड़ी निंदा करता हूं। दक्षिणपंथी फासीवादी ताकतें इतनी आक्रामक हो गई हैं कि अब वे कानून को अपने हाथों में लेने लगी हैं, यह हमला भी उन्हीं की घृणित साजिश का एक हिस्सा है।' '

उन्होंने लोगों से एकजुट होने का अनुरोध किया और कहा कि वे काली ताकतों के विरोध में मुखर होने वाली आवाजों पर हमला करने वाले फासीवादियों का विरोध करें।

भाकपा नेता अतुल कुमार अंजान ने कहा कि यह हत्या प्रेस की स्वतंत्रता पर भी हमला है। उन्होंने कहा, ' 'धर्मान्धों द्वारा बेरहमी से किए गए इस हमले की कई राजनीतिक दलों और नेताओं ने निंदा की है. लेकिन प्रधानमंत्री और संघ प्रमुख मोहन भागवत की चुप्पी हैरान करने वाली है। ' '

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हिंदुत्व की राजनीति की मुखर आलोचक गौरी लंकेश (55 वर्ष) की कल बंगलुरु के राज राजेश्वरी नगर स्थित उनके आवास के दरवाजे पर हमलावरों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी। वह कन्नडभाषी अखबार 'लंकेश पत्रिका' का संचालन करती थीं।

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