पंजाब, हरियाणा के खेतों में धान की पराली को जलाने से दिल्ली में प्रदूषण का खतरा बढ़ा    

Update: 2016-10-16 17:47 GMT
फसल के अवशेष जलाने के बाद एक खेत।

नई दिल्ली (भाषा)। दिल्ली उच्च न्यायालय के आदेश के बावजूद हरियाणा-पंजाब के खेतों में धान की पराली को जलाये जाने के काम में वृद्धि हुई है, जिसकी वजह से राष्ट्रीय राजधानी में प्रदूषण बढ़ने बढ़ गया है।

नासा के ‘वेब फायर मैपर'' में लाल रंग के बिंदुओं को दिखाया गया है जिनसे धान के पराली के जलाये जाने के स्थानों का पता चलता है। इन लाल बंदुओं से पता चलता है कि पिछले एक पखवाड़े में पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश के कुछ हिस्सों में धान की पराली को जलाने के काम में तेजी से वृद्धि हुई है। तस्वीरों से पता चलता है कि छह अक्तूबर से पहले तक ये लाल बिंदु पाकिस्तान और उत्तरी पंजाब की सीमा से लगे क्षेत्रों में केद्रित थे। लेकिन इसके बाद इन बिंदुओं का विस्तार दिल्ली से सटे क्षेत्रों तक फैल गया और यह जल्द ही शहर को अपनी चपेट में ले सकता है।

फसल अवशेष जलाने वालों पर कार्रवाई करेगी हरियाणा सरकार

दिल्ली के पर्यावरण मंत्री इमरान हुसैन ने कहा कि इस समय आप सरकार का ध्यान सर्दियों में बुवाई के मौसम से पहले इस वार्षिक खतरे से निपटने पर केंद्रित होगा। हुसैन ने कहा, ‘‘मैं पहले ही इस संबंध में पड़ोसी राज्य की सरकारों को पत्र लिख चुका हूं। सुधारात्मक कदम उठाये जाने को सुनिश्चित करने और चीजों को सिर्फ शब्दों और पत्रों तक सीमित नहीं रखने के लिए मैं उनके साथ एक बैठक भी करुंगा।''


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