सीतापुर: रेलवे ने 55 दिन के लिए बंद किया माल गोदाम, किसानों की बढ़ी समस्‍या

Update: 2019-08-16 09:59 GMT
सांकेतिक तस्‍वीर

उत्तर रेलवे में रिपेयरिंग के चलते सीतापुर तामसेनगंज मॉल गोदाम बंद कर दिया गया। इससे आसपास के जिले सीतापुर व लखीमपुर खीरी को जाने वाली आवश्यक वस्तुये जैसे खाद, सीमेंट, नमक, चीनी आदि की किल्लत बढ़ गयी है। वही रेलवे के अधिकारियों ने बताया कि गोदाम के ट्रैक में काफी गड्ढे व कई प्रकार की समस्याओं को सही करने के लिए इसे 55 दिन के लिए बंद कर दिया है। वहीं जिले में खाद विक्रेता मनमाने तरीके से खाद के दाम बढ़ाकर बेच रहे हैं।  

सीतापुर माल गोदाम रिपेयरिंग के चलते बंद होने से रोजाना हजारों की संख्या में आने वाली यूरिया खाद की काफी किल्लत हो गई है। यहां की यूरिया खाद सीतापुर से लेकर लखीमपुर खीरी तक आपूर्ति की जाती थी, लेकिन गोदाम में सफाई व मरम्‍मत कार्य के चलते जिले में माल गाड़ियों की रैक न लगने से जिलों में खाद के दाम दुकानदारों ने बढ़ा दिए हैं।

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रोज आती थी 2600 टन फर्टिलाइजर

सीतापुर माल गोदाम पर रोजाना 2600 टन फर्टिलाइजर, 2500 टन सीमेंट, 3000 टन नमक आता है। वही सीतापुर से ही अन्य प्रदेशों में चीनी की सप्लाई भी की जाती है। वही उत्तर रेलवे के सीतापुर स्टेशन अधीक्षक केके शुक्ला ने बताया कि मरम्‍मत कार्य के लिए सीतापुर माल गोदाम बंद किया गया है। वही खैराबाद माल गोदाम चालू है। कंपनियां रैक लगवाएं। रेलवे के पास किसी भी प्रकार की दिक्कत नहीं है।

लखनऊ, इफको मैनेजर विनय मोहन ने कहा कि जिले में माल गोदाम में मरम्‍मत का काम चल रहा है। इसके चलते खाद की रैक नहीं उतर पा रही है। ऐसे में खैराबाद माल गोदाम जो है वो एमएफएमएस में पंजीकृत नहीं है, चूंकि अभी एक दो दिन पहले पंजीकरण कराया गया है, जल्‍द ही यहां खाद भेजी जाएगी।

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खाद के दाम सातवें आसमान पर

जिले में खाद की रैक न आने से दुकानदारों ने खाद के दाम बढ़ा दिए हैं। खाद लेने के लिए किसानों को तमाम परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। किसान नंद गोपाल ने बताया कि जो 50 किलो की खाद की बोरी 299 में मिलती थी, अब उसके दाम बढ़ कर के 400 रुपये हो गए हैं। वही 45 किलो कि भर्ती वाली खाद की बोरी जो 266.50 में मिलती थी, वो ऐसे में 350 रुपये में बेची जा रही है, साथ में किसानों को जिंक का पैकेट जबरन दिया जा रहा है।

जिले में खाद की किल्लत

सीतापुर डीडी एग्रीकल्चर अरविंद मोहन मिश्रा ने बताया कि गोदाम में मरम्‍मत का कार्य चल रहा है, जिसके चलते खाद जिले में नहीं आ रही थी। वही खैराबाद माल गोदाम एम.एफ.एम.एस में पंजीकृत नहीं था, जिसको लेकर शासन को पत्र भेज कर पंजीकरण कराया गया है। अब जल्द ही जिले में खाद की किल्लत को दूर किया जायेगा।

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