कोलकाता (भाषा)। आरएसएस के प्रमुख मोहन भागवत ने कहा कि संगठन चाहता है कि देश शोषण मुक्त और आत्म सम्मान से पूर्ण बने और पूरी दुनिया भारत को सलाम करे।
फ्रेंड्स ऑफ ट्रायबल सोसायटी के सह संस्थापक दिवंगत मदन लाल अग्रवाल के जीवन पर लिखी गई एक किताब के विमोचन के अवसर पर भागवत ने कहा, 'हम चाहते हैं कि पूरी दुनिया ‘भारत माता की जय' बोले। हम भारत को समृद्ध, शोषण से मुक्त और आत्मसम्मान से भरपूर बनाना चाहते हैं। इसके लिए हमें अपनी जिंदगी में भारत को जीना होगा।'' राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख ने कहा कि बंटवारे के बाद पाकिस्तान ने भारत के नाम पर दावा नहीं किया क्योंकि वो उन गुणों को स्वीकार नहीं कर सकता जो भारत में है।
उन्होंने कहा कि वेद, देव भाषा, आदि भाषा और संस्कृत व्याकरण की रचना भी पाकिस्तान के क्षेत्र में हुई। भागवत ने कहा, ''लेकिन पाकिस्तान ने अपना नाम अपनाया और भारत नाम को छोड़ दिया क्योंकि वे वो गुण स्वीकार नहीं कर सकते जो भारत में हैं।''
रामायण का जिक्र करते हुए भागवत ने कहा, ''हम कहते हैं कि ये काफी प्राचीन है लेकिन ये इतिहास है।'' हल्के फुल्के अंदाज में भागवत ने कहा कि वो भाग्यशाली हैं कि आरएसएस का नेतृत्व कर रहे हैं। उन्होंने कहा, ''मुझे नहीं मालूम कि चुनाव होने पर क्या होगा। लेकिन यहां नियुक्ति हुई है। मैं भाग्यशाली हूं।''