लखनऊ। बिजनौर जिले के मेघपुर गांव के आसिफ मलिक अपने घर का निर्माण करा रहे थे। लेकिन इस गांव के प्रधान ने जमीन को सरकारी जमीन बताते हुए यहां पर मकान बनाने काम रूकवा दिया। इसके बाद गांव में झगड़ा और तनाव हो गया। तब आसिफ मलिक ने यूपी पुलिस की टि्वटर सेवा में टि्वट करके जानकारी दी। इसके बाद पुलिस तुरंत हरकत में आई और अफजलगढ़ थाने की पुलिस मौके पर पहुंचकर इस मामले की जांच की और आसिफ मलिक को न्याय मिला। ऐसा कमाल सिर्फ टिवटर की बदौलत हुआ है।
पुलिस और लोगों के बीच कम हुई दूरी
यूपी पुलिस की टि्वटर सेवा ने शहर के लोगों को ही नहीं, बल्कि गांव के लोगों को भी पुलिस की सहायता तुरंत पहुंचा रही है। जब से यूपी पुलिस ने टि्वटर सेवा शुरू की है, तबसे एक तरफ जहां पुलिस का लोगों की समस्याओं के प्रति पहले से ज्यादा जबावदेह बनी है, वहीं लोगों को न्याय भी जल्दी मिलने लगा है। पुलिस के अधिकारी भी टि्वटर सेवा में पब्लिक की बढ़ती भागेदारी से खुश हैं। उनका कहना है यूपी पुलिस की टिवटर सेवा ने पुलिस और पब्लिक के बीच को दूरी कम किया है।
गांव की महिला ने ट्वीट करके अपने पति को बचाया
भदोही जिले की पंचवटिया गांव के वीएन शर्मा को पुलिस ने गिरफ्तार करके थानों में बैठा करके घंटों पूछताछ करने लगी। इसको लेकर जब शर्मा की पत्नी अनुगामिनी राय ने पुलिस से यह सवाल किया कि आखिर उनके पति को किस आधार पर थानों में घंटों बैठाकर पूछताछ की जा रही है तो यहां के चौरी थाना की पुलिस ने गोलमोल जवाब दिया। इसके बाद अनुगामिनी राय ने यूपी पुलिस की टिवटर सेवा पर ट्वीट किया। इसके बाद जिले स्तर से थाने को तुरंत निर्देश मिला और पुलिस को वीएन शर्मा को रिहा करना पड़ा। ऐसा इनका ही मामला नहीं है, बल्कि यूपी पुलिस की टिवटर पर गांव के लोग भी ट्वीट करके अपने कानून-व्यवस्था और लड़ाई-झगड़े के मामले की जानकारी दे रहे हैं और पुलिस उनका जल्द से जल्द निपटरा भी कर रही है।
गांव से आ रहे हैं 50 से लेकर 100 ट्वीट
यूपी पुलिस की टिवटर सर्विस की सेवा की देखरेख के प्रति लोगों ने बताया कि एक दिन में 50 से लेकर 100 ज्यादा ट्वीट सिर्फ गांव से आ रहे हैं। मथुरा जिले के मुसदपुर गांव में काफी दिनों से गांव के रोड को लेकर विवाद था। गांव के कुछ दंबग किस्म के लोग इस गांव की मुख्य सड़ेक को कब्जा करके गांव वाला का रास्ता रोक दिया था। ऐसे में इस गांव के रहने वाले नूतन शर्मा ने ट्वीट करके पुलिस को जानकारी दी। इसके बाद पुलिस ने इस मामले में जांच कराई और इस रास्ते को दबंगों से मुक्त कराया।
ट्वीट ने रोका भ्रष्टाचार
अम्बेडकर नगर जिले के अलीगंज थाने के रायपुर गांव के रहने वाले मो कलीम विदेश जाने के लिए अपना पासपोर्ट बनवा रहे थे। पासपोर्ट वैरीफिकेशन के लिए पुलिस ने उनसे पैसा मांगा। ऐसे में मो कलीम ने इस मामले को लेकर यूपी पुलिस की टि्वटर सेवा पर ट्वीट किया। इस ट्वीट को उन्होंने पुलिस के बड़े अधिकारियों को भी टैग कर दिया। इसके बाद इस शिकायत को संज्ञान के रूप में लेते हुए क्षेत्राधिकारी टाण्डा सुधीर कुमार ने मामले की जांच की। जिसमें अलीगंज थाना के एसआई रवीन्द्र प्रताप सिंह को दोषी पाया गया और उनको तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है।
हर दिन आ रहे 800 से ज्यादा ट्वीट
उत्तर प्रदेश की टि्वटर सेवा काफी हिट हो रही है। इसके माध्यम से रोजाना 800 से ज्याद ट्वीट यूपी पुलिस को मिल रहे हैं जिसमें शिकायत, सुझाव से लेकर पुलिस के अच्छे कामों को शाबाशी मिल रही है। इससे पुलिस अधिकारियों से लेकर टि्वटर सेवा से जुड़े पुलिस अधिकारी काफी उत्साहित हैं। यूपी पुलिस की टि्वटर सेवा के आफिशियल हैंडलर 122 लोग हैं। ऐसे में अगर कोई भी यूपी पुलिस की टि्वटर सेवा पर अगर कोई ट्वीट करता है तो इन सभी 122 लोगों को तक यह ट्वीट पहुंचता है और इसपर तुरंत कार्रवाई होती है।
पुलिस की सलाह, समस्याओं को फोटो क्लिक करके भेजें
टि्वटर सर्विस में शब्दों का एक सीमा है। इसमें मैसेज करते हुए 140 से ज्यादा शब्दों को नहीं लिख सकते हैं। ऐसे में जब गांव के लोगो ट्वीट करते हैं तो उनका शब्दों की लिमिट नहीं पता होती और उनका ट्वीट पूरा नहीं आ पाता है। ऐसे लोगों को यूपी पुलिस की टि्वटर हैंडलर से जुड़े लोगों ने सलाह दी है कि लोग अपनी शिकायत या समस्याओं को लिखने की बजाए उसकी फोटो क्लिक करके भेजें। अपनी शिकायत की फोटो को लिखने की बजाय उसे इमेज के जरिए भेजें। क्योंकि टिवटर में एक इमेज में 8 से ज्यादा शब्द नहीं होते हैं ऐसे में लोग इसके जरिए अपनी बात को बेहतर तरीके से ट्वीट करके बता सकते हैं।