एसोसिएशन की धमकी : बैंकर परेशान हुए तो बंद कर देंगे नोट बांटना

Update: 2016-11-15 21:06 GMT
मोदी सरकार की घोषणा के बाद बंद हुए 500 रुपए के नोट।

चेन्नई (आईएएनएस)|बैंक कर्मचारियों के एक प्रमुख संगठन ने कहा है कि केंद्र सरकार द्वारा नोटबंदी के प्रयासों में अगर बैंककर्मियों पर अब और ज्यादा बोझ डाला गया तो वह सरकार के साथ सहयोग की 'समीक्षा' कर सकता है।

ऑल इंडिया बैंक इंप्लाई एसोसिएशन (एआईबीईए) के महासचिव सी. एच. वेंकटचलम ने मंगलवार को आईएएनएस से कहा, "अगर कर्मचारियों पर अनुचित दबाव डाला जाता है और उन्हें कठिनाई होती है तो हम सरकार के साथ सहयोग की समीक्षा करेंगे। लचीलेपन की एक सीमा होती है।"

उन्होंने कहा, "बैंक की शाखाओं में नोट बदलने के लिए नाखून पर स्याही लगाने की सरकार की योजना से बैंकों में और तमाशा होने वाला है।" एक अन्य बैंककर्मी ने चुटकी लेते हुए कहा, "सरकार को बैंक की शाखाओं में मतदान पेटी भी रख देनी चाहिए।"

नाखून रंगने के बजाए तकनीकी मदद लें

वेंकटचलम के मुताबिक नाखून रंगने के बजाए इसका सॉफ्टवेयर-तकनीकी समाधान निकाला जाना चाहिए। उनके मुताबिक केंद्र सरकार ने इंडियन बैंक एसोसिएशन से अपने सदस्य बैंकों को लंबे समय तक चलाने के लिए अपने कर्मचारियों को शिफ्ट के आधार पर तैनाती करने का निर्देश देने को कहा है। सरकार ने इसके अलावा आईबीए को अतिरिक्त टर्मिनल लगाने और सेवानिवृत्त बैंककर्मियों की सेवाएं लेने के लिए कहा है।

वेंकटचलम ने कहा कि भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) और केंद्र सरकार को नए नोटों की पर्याप्त आपूर्ति सुनिश्चित करनी चाहिए ताकि लोग पुराने नोट बदल सकें। वहीं, सार्वजनिक क्षेत्र के बैकों के अधिकारियों को आश्चर्य हो रहा है कि निजी क्षेत्र के बैंकों को नए नोट की आपूर्ति अधिक हो रही है, जबकि उन्हें इसकी ज्यादा जरूरत है।

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