थानों में दिखेंगे खिलौने और बच्चों की किताबें

Update: 2017-01-15 16:11 GMT
पहले आदर्श पुलिस थाने में यह व्यवस्था लागू की जाएगी।

नई दिल्ली (भाषा)। खिलौनों और बच्चों की किताबों से भरे रंग-बिरंगे कमरे अब जल्द ही राष्ट्रीय राजधानी के पुलिस थानों में भी दिखाई देंगे। यह पहल अपराध पीड़ित, हिंसा अथवा अपराध में अकेले बचे और संदिग्ध अपराधी बच्चों को विशेष सुविधाओं वाला स्थान देने के प्रयास के तहत की जा रही है।

दिल्ली पुलिस ने इसके लिए राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) और यूनिसेफ से गठजोड़ किया है। आयोग और यूनिसेफ इस प्रस्तावित योजना के लिए दिशा-निर्देश तैयार करेंगे। इस प्रस्ताव के तहत पुलिस थानों में प्रवेश और निकासी के अलग-अलग दरवाजे रखने, सादी वर्दी वाले पुलिसकर्मी रखने, आवश्यक रूप से महिला पुलिसकर्मी तैनात करने, खिलौने, रंगीन कमरे और कार्टून जैसी सुविधाओं की सलाह दी गयी है।

पिछले सप्ताह सभी 13 जिलों के एसीपी-एसजेपीयू (विशेष जुवेनाइल पुलिस यूनिट) सदस्य, एनसीपीसीआर के अधिकारी और यूनिसेफ के प्रतिनिधियों ने इस संबंध में एक बैठक की थी।

महिला और बच्चों के लिए गठित विशेष पुलिस यूनिट के निरीक्षक एस एस मल्हान ने कहा, ‘‘हमने सभी को इस प्रकार के पुलिस थानों की पहचान करने के निर्देश जारी किये हैं, जहां इस प्रकार की व्यवस्था की जा सकती है। हम पहले एक आदर्श पुलिस थाने में यह व्यवस्था लागू करेंगे और इसके बाद प्रत्येक जिलों के थानों में बच्चों के अनुकूल व्यवस्था की जाएगी।'' यह योजना फरवरी से शुरू होने की उम्मीद है।

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