जीएसटी 1 जुलाई से लागू होने की उम्मीद : जेटली  

Update: 2017-03-22 15:22 GMT
केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली।

नई दिल्ली (आईएएनएस)। केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने बुधवार को उम्मीद जताई कि वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) इस साल पहली जुलाई से लागू किया जा सकेगा। उन्होंने साथ ही यह भी उम्मीद जताई कि संसद के मौजूदा बजट सत्र में इससे संबंधित विधेयक पारित हो जाएंगे।

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केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने यहां भारत के नियंत्रण एवं महालेखा परीक्षक (सीएजी) की ओर से आयोजित राष्ट्रमंडल देशों के महापरीक्षकों के 23वें सम्मेलन के दौरान कहा, "जीएसटी भारत में सबसे बड़ा सुधार है। उम्मीद है यह एक जुलाई से लागू हो जाएगा। उम्मीद है कि इससे संबंधित विधेयकों को संसद से मंजूरी मिल जाएगी।"

राष्ट्रमंडल देशों के महापरीक्षकों के 23वें सम्मेलन में कंट्रोलर व अडिटर जनरल शशिकांत शर्मा व केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली।

जीएसटी लागू होने से वस्तुएं और सेवाएं सस्ती होंगी और कर चोरी मुश्किल होगी।

वित्त मंत्री ने यह भी कहा कि सात से आठ प्रतिशत की आर्थिक वृद्धि हासिल करना मुमकिन है और यदि वैश्विक अर्थव्यवस्थाओं में स्थिति सुधरती है तो देश की आर्थिक वृद्धि दर इससे भी बेहतर हो सकती है। जेटली ने कहा कि नोटबंदी से समानांतर अर्थव्यवस्था को हतोत्साहित किया जा सकेगा और अनौपचारिक अर्थव्यवस्था को औपचारिक अर्थव्यवस्था के साथ जोड़ने में मदद मिलेगी। इससे सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) का आकार बढ़ेगा और यह अधिक साफ-सुथरी होगी।

जेटली ने कहा, ‘‘इससे कराधान बढ़ेगा। जीएसटी लागू होने के बाद कर के ऊपर कर नहीं लगेगा और वस्तुएं, उपभोक्ता जिंस और सेवाएं कुछ सस्ती और अधिक सुविधाजनक होंगी।''

जेटली ने कहा कि कर विभाग आयकर विभाग को इतना मजबूत बनाने का प्रयास कर रहा है कि कर चोरी करना काफी मुश्किल हो जाए। उन्होंने कहा कि इसके बाद केवल सीमित संख्या में ही मामलों को जांच परख के लिए लिया जाएगा।

वित्त मंत्री ने कहा, ‘‘जीएसटी लागू करने के लिए जरूरी विधेयक इस समय संसद के समक्ष हैं और इनके पारित होने के बाद इस साल के मध्य तक हम इसपर अमल होने की उम्मीद कर रहे हैं।'' उन्होंने कहा कि जीएसटी लागू होने के बाद अप्रत्यक्ष करों के क्षेत्र में इस समय जो जटिल कर प्रणाली है वह दुनिया की सबसे सरल कर प्रणाली बन जाएगी।

केंद्रीय मंत्रिमंडल ने इसी सप्ताह जीएसटी से जुड़े चार विधेयकों के प्रारुप को मंजूरी दे दी है, इन विधेयकों को संसद के चालू बजट सत्र में पेश किया जाएगा।

आर्थिक वृद्धि के बारे में जेटली ने कहा कि भारत दुनिया की सबसे तेज गति से वृद्धि दर्ज करने वाली अर्थव्यवस्थाओं में बना रहेगा। ‘‘पिछले लगातार तीन साल से हम सबसे तेजी से बढ़ने वाली अर्थव्यवस्था रहे हैं, आगे भी हम बने रहेंगे। मेरा मानना है कि भारत के लिए सात से आठ प्रतिशत की आर्थिक वृद्धि हासिल करना तार्किक रुप से पूरी तरह मुमकिन है।'' उन्होंने कहा, ‘‘यदि दुनिया के देशों में अच्छी वृद्धि होती है तो हम भी और तेजी से आगे बढ़ सकते हैं।''

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