किडनी कांड: आंतों के ऑपरेशन के दौरान डॉक्टरों पर युवक की किडनी निकालने का आरोप

Update: 2017-05-11 21:41 GMT
पीड़ित के परिवार वालों ने ट्रामा सेंटर के डॉक्टरों पर आरोप लगाया है

बाराबंकी। उत्तर प्रदेश में स्वास्थ्य महकमे की लापरवाही की एक घटना सामने आ रही है। इसके अनुसार बाराबंकी के घायल युवक को जिला अस्पताल से लखनऊ ट्रामा सेंटर में इलाज के लिए रेफर किया गया था लेकिन परिवार का आरोप है कि यहां ऑपरेशन के दौरान किडनी निकाल ली गई।

बाराबंकी के थाना कोठी से सटे भवानी बक्स मजरे कोठी गाँव के रहने वाले पृथ्वीराज 2015 में एक दुर्घटना के शिकार हो गए थे, जिसके बाद उसे घायल अवस्था में जिला हॉस्पिटल बाराबंकी से लखनऊ के ट्रामा सेंटर में इलाज के लिए रेफर किया गया था। यहां उसे बताया गया कि उसकी पेट की आंत फट गई है जिसका ऑपरेशन होना जरूरी है।

मामले में जांच रिपोर्ट न्यायालय को सौंपने का आदेश मिला है, जांच के बाद मामले के तथ्य न्यायालय को सौंप दिए जाएंगे।
वैभव कृष्ण, पुलिस अधीक्षक, बाराबंकी

मरीज की अल्ट्रासाउंड रिपोर्ट

पृथ्वीराज के परिवारवालों ने बताया कि ऑपरेशन के बाद पृथ्वीराज को एक महीने तक भर्ती रखा गया। इसके बाद उसे 20 मार्च डिस्चार्ज किया गया। घर पर आराम के दौरान वो थोड़ा ठीक तो हुआ लेकिन कमजोरी लगातार बनी रही जिसके इलाज के लिए वो ट्रामा के डॉक्टरों डॉ. आंनद मिश्रा व डॉ. आनंद तिवारी के संपर्क में लगातार बने हुए थे। के संपर्क में बना रहा लेकिन जब मामला और गंभीर हुआ तो घरवालों ने बाराबंकी में ही एक प्राइवेट डॉक्टर से संपर्क किया। प्राइवेट डॉक्टर के कहने पर जब पृथ्वीराज का अल्ट्रासाउंड करवाया गया तो उसके और उसके परिवार के पैरों तले जमीन खिसक गई। अल्ट्रासाउंड में पता चला की ऑपरेशन के दौरान ही उसकी किडनी निकाल ली गई थी।

पीड़ित पृथ्वीराज ने इसकी लिखित शिकायत न्यायालय और मुख्यमंत्री योगी से की। जिसके बाद स्थानीय पुलिस भी मामले में जांच पड़ताल कर रही है। जिले के पुलिस अधीक्षक वैभव कृष्ण का कहना है कि मामले में जांच रिपोर्ट न्यायालय को सौंपने का आदेश मिला है, जांच के बाद मामले के तथ्य न्यायालय को सौंप दिए जाएंगे।

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