लखनऊ। गोरखपुर मेडिकल कालेज में आॅक्सीजन गैस की कमी के कारण मृतक मासूम बच्चों की आत्मा की शांति और भाजपा सरकार के अमानवीय चेहरे को उजागर करने के लिए समाजवादी पार्टी की महिलाओं और छात्राओं ने शनिवार को लखनऊ सहित गोरखपुर, बलिया, इलाहाबाद, मेरठ और बरेली जिलों में भी कैंडल मार्च निकाला।
राजधानी लखनऊ में समाजवादी महिला सभा की प्रदेश अध्यक्ष गीता सिंह के नेतृत्व में सैकड़ों की संख्या में महिलाओं तथा छात्राओं ने हिन्दी संस्थान के निकट टैगोर प्रतिमा के पास से शुरू कर जीपीओ स्थित गांधी प्रतिमा तक कैंडल मार्च निकाला। इस प्रदर्शन में शीला सिंह, विद्या यादव, आरती पाल, गीता पाण्डेय और युवा कैंडल मार्च में शामिल रहे।
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समाजवादी पार्टी के मुख्य प्रवक्ता राजेंद्र चौधरी ने कहा कि भाजपा सरकार मासूम बच्चों की मौत के लिए जिम्मेदार है। मुख्यमंत्री जी ने 48 घंटे पहले गोरखपुर में समीक्षा बैठक की थी तब सभी तथ्य सामने क्यों नहीं आए। घटना सरकारी लापरवाही का कुपरिणाम है। इसकी मजिस्ट्रेटी जांच की घोषणा घटना पर लीपापोती किया जाना है। सरकार अपनी अकर्मण्यता और प्रशासनिक अक्षमता को छुपाने के लिए इसे सामान्य मौंते बताने की साजिश कर रही है। भाजपा सरकार में यदि जरा भी संवेदना शेष है तो अखिलेश यादव की ओर से की गई मांग के अनुसार सरकार को मृतक बच्चों के परिजनों को 20-20 लाख का मुआवजा देना चाहिए और दोषी लोगों पर कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए।
समाजवादी सरकार के समय अखिलेश यादव ने गोरखपुर में एम्स की स्थापना के लिए कीमती जमीन मुफ्त दी थी। वहां मस्तिष्क ज्वर के इलाज के लिए 200 बेड का आईसीयू और 500 बेड का बच्चों का अस्पताल भी बनवाया था। समाजवादी सरकार में लिक्विड गैस की जो व्यवस्था की थी उसे भाजपा सरकार चलाने में भी विफल रही है। 102 और 108 नंबर एम्बूलेंस सेवा भी समाजवादी सरकार ने शुरू की थी जिसे भाजपा सरकार ने बर्बाद कर दिया। भाजपा सरकार इस हद तक दुराग्रही है कि अखिलेश यादव की सरकार के जनहित के कामों को भी तबाह करने पर तुली है। भाजपा सरकार का चरित्र ही संवेदनहीन और जनविरोधी है।